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योग से और बढ़ाएं अपना सौंदर्य

योगाभ्यास द्वारा शरीर का सर्वांगीण व्यायाम हो जाता है, जिससे जांघों, उदर और नितंबों पर अतिरक्त वसा का जमाव नहीं रहता। देहयष्टि कमनीय बनती है। आकर्षक व्यक्तित्व के लिए यह अनिवार्य है। अतः यदि सुदंर और स्मार्ट दिखना चाहती हैं तो नियमित रूप से योगाभ्यास करें। ध्यान रहे कि योगाभ्यास की देखरेख में करनी चाहिए। अपने स्वास्थ्य और क्षमता को ध्यान में रखते हुए योगाभ्यास करें। योगाभ्यासों का अभ्यास धीरे-धीरे करें। जबरन किसी आसन को करने का प्रयास नुकसान पहुचा सकता है।

शरीर में लचीलापन बढ़ता है योगाभ्यास करने से शरीर की अनावश्यक चर्बी घट जाती है। कमनीयता सौंदर्य का पर्याय है गर्भावस्था के दौरान कुछ विशेष योगासन करने से जहां प्रसव आसानी से होता है, वहीं प्रसवोपरांत योगासनों द्वारा शरीर पर चढ़ी अतिरिक्त चर्बी घट जाती है। शरीर पहले की तरह चुस्त हो जाता है। तनाव से मुक्ति मिलती है चेहरा हृदय का दर्पण कहलाता है। यदि व्यक्ति तनावग्रस्त है तो उसका प्रभाव चेहरे पर झलकता है। असमय चेहरे पर झुर्रियां आ जाती है।

मुखमंडल कांतिहीन हो जाता है। इसलिए योगाभ्यास खासकर प्राणायाम से व्यक्ति तनाव से निजात पाता है। चेहरे की आभा लौट आती है। प्राणायाम द्वारा चेहरे पर जो चमक आती है, वह किसी भी सौंदर्य प्रसाधन और सौंदर्योपचार से प्राप्त नहीं की जा सकती है। अनिद्रा से निजात प्राणायाम द्वारा क्रोध, चिड़चिड़ापन और तमाम मानसिक रोग दूर होते हैं चिंता मुक्त होकर व्यक्ति शांत और पूरी नींद लेता है। फलस्वरूप मन शांत और एकाग्रचित होता है। स्वास्थ्य और सौदर्य के लिए भरपूर नींद आवश्यक है। निद्रा के अभाव में आंखों के नीचे काले घेरे बन जाते हैं। आंखें गढ्ढों में धंसी प्रतीत होती है। ऐसी आंखें किसी को भी सुंदर नहीं लगती।