लखनऊ, उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी के साथ चुनाव पूर्व गठबंधन को लेकर कांग्रेस ने अब तक अपने दरवाजे खोल रखे हैं। कांग्रेस के नेता इस बारे में हालांकि खुलकर बोलने से बच रह हैं मगर पार्टी महासचिव और उत्तर प्रदेश के प्रभारी गुलाम नबी आजाद ने आज पहली राज्य कार्यकारिणी की बैठक में इसके स्पष्ट संकेत दिये।
आजाद ने कहा ष्कांग्रेस भाजपा की पूरी तरह खिलाफत करती है। भाजपा को हराने के लिए 40 से 60 फीसदी सीटों का बंटवारा अन्य दलों के साथ किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि कल से अगले तीन दिन 36 सदस्यीय केन्द्रीय चुनाव समिति प्रत्याशियों के नाम पर मुहर लगाने के लिये लखनऊ में बैठेगी। करीब तीन घंटे तक चली कार्यकारिणी की बैठक में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष राजबब्बर समेत अन्य नेता नोटबंदी को लेकर भाजपा पर जमकर बरसे। इस दौरान सपा के साथ गठबंधन को लेकर नेता कुछ बोलने से बचते रहे। राज्यसभा सदस्य संजय सिंह ने कहा कि परिवार में जारी विवाद सपा को ले डूबेगा।
पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष और राज्य चुनाव स्क्रीनिंग कमेटी के अध्यक्ष निर्मल खत्री ने कहा कि कांग्रेस को किसी गठबंधन के लिये नहीं जाना चाहिये और अपने बूते चुनाव मैदान में उतरना चाहिये। कांग्रेस अपने बूते चुनाव जीतकर सरकार बनाने में सक्षम है।
दूसरी ओर कांग्रेस की मुख्यमंत्री पद की प्रत्याशी शीला दीक्षित ने नई दिल्ली में अखिलेश यादव के नेतृत्व वाली समाजवादी पार्टी के साथ नेतृत्व की वकालत की।