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जेएनयू छात्रों के विरोध प्रदर्शन को लेकर, दो प्राथमिकी दर्ज

नयी दिल्ली, दिल्ली पुलिस ने छात्रावास शुल्क वृद्धि को लेकर जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) के छात्रों के विरोध प्रदर्शन के सिलसिले में  दो प्राथमिकी दर्ज की। पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने यह जानकारी दी।

उन्होंने बताया कि कानून की संबंधित धाराओं के तहत एक प्राथमिकी किशनगढ़ पुलिस थाने में दर्ज की गई है जबकि एक अन्य प्राथमिकी लोधी कॉलोनी पुलिस थाने में दर्ज की गई है।

पुलिस उपायुक्त (दक्षिण) अतुल कुमार ठाकुर के अनुसार अरबिंदो मार्ग पर सोमवार की घटना के सिलसिले में आईपीसी की धाराओं 186 (लोक सेवक के सरकारी कार्य के निर्वहन में बाधा डालना), 353 (सरकारी कर्मचारी पर हमला कर या उस पर बल का इस्तेमाल कर उसे उसकी ड्यूटी निभाने से रोकना), 332 (सरकारी कर्मचारी को उसे अपना कर्तव्य निभाने से रोकने के लिए चोट पहुंचाना) और धारा 188 के तहत लोधी कॉलोनी पुलिस थाने में मामला दर्ज किया गया है।

ठाकुर ने बताया कि प्राथमिकी में आईपीसी की धाराओं 147 (दंगे के लिए सजा), 148 (दंगा, घातक हथियार से लैस), 149 (विधिविरुद्ध जनसमूह का हर सदस्य, समान लक्ष्य को पूरा कराने में किए गए अपराध का दोषी), 151 (पांच या अधिक व्यक्तियों का समूह जिसे तितर-बितर होने का आदेश दिए जाने के बाद भी जानबूझकर उसमें शामिल होना या बने रहना), 34 (समान मंशा को आगे बढ़ाने में कई व्यक्तियों द्वारा किये गये कृत्य) और लोक संपत्ति क्षति निवारण अधिनियम की धारा तीन को भी जोड़ा गया है। जेएनयू छात्र संघ (जेएनयूएसयू) से तत्काल प्रतिक्रिया नहीं मिल सकी है।

जेएनयू के छात्रों ने सोमवार को राष्ट्रीय राजधानी में जबरदस्त विरोध प्रदर्शन किया था जिससे शहर के कई हिस्सों में जाम लग गया था। छात्रों ने हाल में की गई शुल्क वृद्धि के खिलाफ विरोध मार्च निकाला था।छात्रावास शुल्क में बढ़ोतरी के खिलाफ विश्वविद्यालय परिसर में पिछले तीन सप्ताह से प्रदर्शन कर रहे छात्र संसद का ध्यान आकृष्ट करने के लिए सोमवार को सड़कों पर उतरे थे। पुलिस के अनुसार आठ घंटे तक चले इस विरोध प्रदर्शन के दौरान लगभग 30 पुलिसकर्मी और 15 छात्र घायल हो गये। प्रदर्शन में राष्ट्रीय राजधानी के विभिन्न विश्वविद्यालयों के छात्रों ने बड़ी संख्या में भाग लिया था।

मार्च शुरू होने से पहले जेएनयू परिसर के मुख्य द्वार के बाहर पुलिस और अर्धसैनिक बल के जवानों की तैनाती की गई थी। विरोध प्रदर्शन शुरू होने से पहले मानव संसाधन विकास (एचआरडी) मंत्रालय ने तीन सदस्यों की एक समिति गठित की है जो विश्वविद्यालय में सामान्य कामकाज बहाल करने के तरीकों की सिफारिश करेगी। प्रदर्शनकारियों ने लगभग दोपहर में मार्च निकाला और उन्होंने परिसर के मुख्य द्वार पर बैरिकेड तोड़ दिये और बाबा गंगनाथ मार्ग की ओर बढ़ना शुरू किया। पुलिस ने जेएनयूएसयू अध्यक्ष आइशी घोष, सचिव सतीश चंद्र यादव और जेएनयूएसयू के पूर्व अध्यक्ष एन साई बालाजी समेत लगभग 100 प्रदर्शनकारियों को हिरासत में ले लिया। जेएनयू प्रशासन ब्लॉक के ‘‘विरूपण’’ की एक घटना को लेकर शनिवार को अज्ञात लोगों के खिलाफ एक प्राथमिकी दर्ज की गई थी।