नई दिल्ली, दिल्ली विश्वविद्यालय के छात्रसंघ चुनाव मे भी बीजेपी की एबीवीपी को हार का सामना करना पड़ा। अध्यक्ष और उपाध्यक्ष के पद पर एनएसयूआई ने जीत दर्ज कर ली है जबकि सचिव और सह सचिव का पद एबीवीपी के झोली में गया है।
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दिल्ली विश्वविद्यालय के छात्रसंघ चुनाव मे चार साल बाद एनएसयूआई ने अध्यक्ष पद पर कब्जा जा लिया है। अध्यक्ष पद परएनएसयूआई के रॉकी तुषीद को 16299 वोट मिले जबकि दूसरे स्थान पर रहे रजत चौधरी को 14709 वोट हासिल हुए। इसी तरह उपाध्यक्ष के पद पर एनएसयूआई के कुनाल सेहरावत को 16437 वोट मिले जबकि एबीवीपी के प्रार्थ राणा को 16256 वोट हासिल हुए।
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वहीं, एबीवीपी को इस बार के छात्रसंघ चुनाव में चार में से दो सीटों पर ही जीत हासिल हो सकी। सचिव पद पर एबीवीपी के महामेधा नागर को 17156 वोट मिले जबकि एनएसयूआई की मिनाक्षी मीना को 14532 वोट हासिल हुए। सह सचिव के पद के लिए हुए चुनाव में एबीवीपी उमा शंकर को 16691 वोट मिले जबकि एनएसयूआई के अविनाश यादव को 16349 वोट हासिल हुए।
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दिल्ली विश्वविद्यालय चुनाव में इस बार कुल 24 प्रत्याशी मैदान में हैं। इनमें अध्यक्ष पद के लिए 10 प्रत्याशी, उपाध्यक्ष के लिए 5 प्रत्याशी, सचिव और सहसचिव पद के लिए क्रमश: 5 और 4 उम्मीदवार चुनावी मैदान में हैं। हालांकि, मुख्य मुकाबला एनएसयूआई और एबीवीपी के बीच बताया जा रहा है। मगर,वामपंथी संगठन आइसा और एसएफआई भी इस बार मजबूती के साथ चुनाव मैदान में डटे हुए दिखाई दिए। डूसू सुनाव के मुख्य चुनाव अधिकारी प्रो. के मुताबिक इस बारदिल्ली विश्वविद्यालय में सवा लाख मतदाता पंजीकृत थे।
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एनएसयूआई ने एबीवीपी के विजय रथ को रोकने के साथ ही कई मिथक भी तोड़े हैं। एनएसयूआई ने इस बार दिल्ली विश्वविद्यालय में जीत दर्ज कर 6 साल से चली आ रही परंपरा को भी किनारे लगा दिया है। साथ ही चार साल बाद उसने अध्यक्ष पद पर जीत हासिल की है।