लखनऊ, उत्तर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री डा0 दिनेश शर्मा ने “शिक्षक दिवस” पर चयनित किए गए माध्यमिक स्कूलों के 17 प्रधानाचार्य एवं शिक्षकों को सम्मानित करने के साथ कई महत्वपूर्ण घोषणाएं भी की।
श्री शर्मा ने रविवार को यहां गोमतीनगर में आयोजित शिक्षक सम्मान समारोह में राष्ट्रीय शिक्षक पुरस्कार 2021 के लिए चयनित श्रीमती तृप्ति माहौर, सहायक अध्यापिका राजकीय बालिका इंटर कॉलेज, किला रामपुर तथा मनीष कुमार, सहायक अध्यापक पूर्व माध्यमिक विद्यालय शिवगंज, विकासखंड सहार जिलो औरैया को सम्मानित किया।
उप मुख्यमंत्री ने उत्कृष्ट कार्य के लिए ‘राज्य अध्यापक पुरस्कार एवं मुख्यमंत्री अध्यापक पुरस्कार’ के लिए इस अवसर पर माध्यमिक शिक्षा विभाग के तहत लखनऊ के चयनित 75 उत्कृष्ट शिक्षकों को भी सम्मानित किया गया। उन्होंने कहा कि भारत सरकार देश की आजादी के 75 वर्ष पूर्ण होने के उपलक्ष्य में आजादी का ‘अमृत महोत्सव’ मनाया जा रहा है। इस अवसर प्रदेश के प्रत्येक जिले में उत्कृष्ट शैक्षिक कार्य करने वाले माध्यमिक एवं शिक्षा विभाग के 75 शिक्षकों को सम्मानित किया गया।
डा0 शर्मा ने शिक्षक दिवस के अवसर पर शिक्षकों के हित में माध्यमिक शिक्षा विभाग से संबंधित कई घोषणाएं भी की। उन्होंने कहा कि राजकीय माध्यमिक शिक्षकों के अवकाश (चिकित्सा अवकाश, मातृत्व अवकाश, बाल्य देखभाल अवकाश) को मानव संपदा पोर्टल के माध्यम से ऑनलाइन स्वीकृत किया जाएगा। उन्होंने कहा कि वित्तविहीन विद्यालयों के अंशकालिक शिक्षकों की परिलब्धियों का भुगतान प्रबंध तंत्र द्वारा संबंधित के बैंक खाते में कराया जाएगा।
उन्होंने बताया कि राजकीय तथा सहायता प्राप्त माध्यमिक विद्यालयों में कार्यरत शिक्षकों के जिला स्तर, मंडल स्तर तथा राज्य स्तर पर प्राप्त होने वाले सेवा संबंधित शिकायती प्रकरणों पर समयबद्ध तथा पारदर्शी निस्तारण के लिए एक ऑनलाइन व्यवस्था की जायेगी, जिससे पोर्टल के माध्यम से शिक्षकों की शिकायतों के समस्त प्रकरणों का समयबद्ध निस्तारण किया जा सके।
उप मुख्यमंत्री ने घोषणाओं के क्रम में बताया की अशासकीय सहायता प्राप्त विद्यालयों में कार्यरत शिक्षकों /कर्मचारियों के अवशेष वेतन के प्रकरणों में एक लाख रुपए तक की सीमा के अवशेष मंडलीय शिक्षा निदेशक के स्तर से अनुमन्यता निर्गत की जा रही है। उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड प्रयागराज से चयनित शिक्षक (प्रथम नियुक्ति) के शैक्षणिक प्रमाणपत्रों के सत्यापन के कारण उत्पन्न अवशेष की अनुमन्यता किसी सीमा तक मंडल सहित संयुक्त शिक्षा का स्तर से निर्गत की जाएगी। उन्होंने कहा कि इसके साथ ही अशासकीय सहायता प्राप्त विद्यालयों में सेवा काल में मृत होने वाले शिक्षकों को विकल्प के बिना भी ग्रेट्यूटी दिए जाने के संबंध में वित्त विभाग को प्रस्ताव भेजा गया है।