नैनीताल, उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने सरोवर नगरी नैनीताल में पानी की किल्लत को गंभीरता से लेते हुए जल संस्थान को प्रभावित क्षेत्र में चार बजे तक पानी उपलब्ध कराने और वैकल्पिक उपाय अपनाने के निर्देश दिये हैं।
दरअसल उच्च न्यायालय के अधिवक्ता डीसीएस रावत की ओर से उच्च न्यायालय में एक प्रार्थना पत्र देकर कहा गया कि पर्यटक नगरी नैनीताल के एक हिस्से में चार दिनों से पेयजल की आपूर्ति बाधित है। लोग परेशान हैं। यहां तक कि शहर के दोनों अस्पतालों में भी पानी की आपूर्ति नहीं होने से स्वास्थ्य सेवा प्रभावित हो रही है। पानी के अभाव में मरीजों का डायलिसिल नहीं हो पा रहा है।
मुख्य न्यायाधीश की अगुवाई वाली पीठ ने इस मामले को बेहद गंभीरता से लेते हुए स्वतः संज्ञान लेते हुए जनहित याचिका दायर कर लिया। दूसरी जल संस्थान की ओर से इस मामले में कहा गया कि विगत 20 जून को विकास कार्य के दौरान खुदाई के चलते पेयजल लाइन कट गयी थी। पेयजल आपूर्ति सुचारू करने के लिये महकमा पूरा प्रयास कर रहा है और आज चार बजे तक जलापूर्ति सुचारू कर दी जायेगी।
अदालत ने जल संस्थान की बात को रिकार्ड में लेते हुए अधिकारियों को चार बजे तक पेयजल आपूर्ति उपलब्ध कराने के साथ ही प्रभावित क्षेत्र में पानी उपलब्ध कराने के लिये वैकल्पिक उपायों को भी अपनाने के निर्देश दिये। अदालत ने यह भी कहा कि इसके बावजूद भी जल संस्थान की ओर से पेयजल आपर्ति सुचारू नहीं की जाती है तो अदालत को सूचित करें।