नयी दिल्ली, कांग्रेस समेत कुछ विपक्षी दलों के सदस्यों ने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की कार्रवाई के विरोध में बुधवार को लोकसभा में हंगामा किया जिसके कारण सदन की कार्यवाही चार बजे तक स्थगित कर दी गयी।
दो बार के स्थगन के बाद मध्याह्न दो बजे सदन के समवेत होने पर पीठासीन अधिकारी राजेन्द्र अग्रवाल ने हंगामे के बीच केंद्रीय विश्वविद्यालय (संशोधन) विधेयक, 2022 पर चर्चा की शुरूआत करवाई। इस दौरान कांग्रेस और द्रमुक के सदन के बींचोबीच आकर हंगामा करते रहे। हंगामे के बीच भाजपा की राजनबेन धन्नजय भट्ट ने विधेयक पर चर्चा की शुरुआत की।
पीठासीन अधिकारी ने हंगामे बीच चर्चा जारी रखी जिसमें कुछ सदस्यों ने हिस्सा लिया लेकिन हंगामा बढने की वजह से सदन की कार्यवाही चार बजे तक स्थगित कर दी गयी।
रेल मंत्री अश्वनी वैष्णव ने चर्चा के दौरान कहा ,“ परिवहन क्षेत्र काफी जटिल है, खासतौप पर रेलवे और मेट्रो। अगर हमें ऐसी जटिल व्यवस्था को सही प्रकार से चलाना है तो हमें तकनीकी शिक्षा की जरूरत है। इसी आधार पर गतिशक्ति विश्वविद्यालय की अवधारणा को सामने रखा है।”
पूर्वाह्न 11 बजे कार्यवाही शुरू होने पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने जैसे ही प्रश्नकाल शुरु किया तो कांग्रेस के कुछ सदस्य हंगामा करते हुए सदन के बीचोंबीच आ गये जबकि द्रमुक और नेशनल कांफ्रेंस के सदस्य अपने स्थान पर खड़े हो गये। कांग्रेस के सदस्य सदन के बीचोंबीच आकर सरकार विरोधी नारे लगाने लगे। सदस्यों ने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के विरोध के में भी नारेबाजी की। श्री बिरला ने हंगामे के बीच प्रश्नकाल को चलाने का प्रयास किया लेकिन दस मिनट बाद भारी शोरशराबे की वजह से सदन की कार्यवाही 12 बजे तक स्थगित करनी पड़ी।
इससे पहले एक बार के स्थगन के बाद मध्याह्न 12 बजे सदन के समवेत होने पर पीठासीन अधिकारी राजेन्द्र अग्रवाल ने आवश्यक दस्तावेज सदन के पटल पर रखवाये। इस बीच कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों के सदस्य ईडी के दुरुपयोग के आरोप लगाते हुए नारेबाजी करने लगे। विपक्ष के हंगामे के बीच ऊर्जा मंत्री आर के सिंह ने ऊर्जा संरक्षण (संशोधन) विधेयक 2022 को सदन में पेश किया।