नई दिल्ली,टेलीकॉम रेग्युलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया (ट्राई) ने नेट न्यूट्रेलिटी के पक्ष में अपना फैसला दिया है. ट्राई ने इसका ऐलान करते हुए कहा कि अलग-अलग डेटा इस्तेमाल के लिए अलग-अलग कीमत नहीं देनी होगी. ने मोबाइल ऑपरेटर कंपनियों पर अलग-अलग डेटा इस्तेमाल के लिए अलग-अलग टैरिफ की पेशकश पर पाबंदी लगा दी है. ट्राई के चेयरमैन आरएस शर्मा ने इस बारे में जानकारी दी. उन्होंने बताया कि अगर कोई सर्विस प्रोवाइडर इसे नहीं मानता है तो उससे टैरिफ प्लान वापस लेने कहा जाएगा. निर्देश के उल्लंघन की तारीख से ही उस पर 50 हजार रुपये रोजाना की दर से अधिकतम 50 लाख रुपये तक का जुर्माना लगाया जाएगा.इमरजेंसी के दौरान प्रोवाइडर चाहें तो टैरिफ प्लान्स कम कर सकते हैं, वहीं आम दिनों में टैरिफ स्थान, सोर्स और ऐप्लिकेशन पर निर्भर नहीं करेंगे. टेलीकॉम रेग्युलेटरी ने सर्कुलर जारी कर कहा कि मोबाइल कंपनियांअब उपभोक्ता से किसी भी तरह का करार नहीं कर सकती हैं और न ही अलग सुविधा के लिए कीमत की शर्त ही लगा सकती है.
भारतीय टेलिकॉम रेग्युलेटरी अथॉरिटी ने नेट न्यूट्रेलिटी के पक्ष में फैसला सुनाते हुए फेसबुक के ‘फ्री बेसिक्स’ और एयरटेल के ‘एयरटेस जीरो’ योजना को तगड़ा झटका दिया है. पहले फेसबुक ने ‘फ्री बेसिक्स’ योजना को लागू कराने के लिए ट्राई पर काफी दबाव बनाया और अपनी योजना के पक्ष में पिटिशन साइन कराने का अभियान चलाया था. इसके पहले रिलांयस के साथ मिलकर फेसबुक ने इंटरनेट ओआरजी प्लान की घोषणा की थी.
फेसबुक के संस्थापक मार्क जकरबर्ग ने फ्री बेसिक्स स्कीम को लेकर कहा था कि इसके जरिए ग्रामीण भारत के लाखों लोगों को मुफ्त में इंटरनेट दी जाएगी.