अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने कहा है कि अमेरिका इस्लामिक स्टेट को नष्ट कर देगा और आतंकवाद के इस नए चरण से निपट लेगा। हालांकि ओबामा ने आतंकी समूह को हराने के लिए व्यापक स्तर पर जमीनी सेनाएं भेजने की संभावनाओं को खारिज कर दिया। वाइट हाउस के ओवल ऑफिस से राष्ट्र के नाम दिया गया ओबामा का यह दुर्लभ संबोधन दरअसल कैलिफोर्निया में जनसमूह पर हुई गोलीबारी के बाद से घबराए हुए देश को शांत करने के लिए था। इस गोलीबारी में 14 लोग मारे गए थे।विश्व के लिया खतरा बनें आईएस ने हाल ही में पेरिस में आतंकी हमलों के माध्यम से जता दिया कि वह कैसे किसी भी देश के लिए खतरा उत्पन्न कर सकता है। इस्लामिक स्टेट को नष्ट कर देने की अपनी प्रतिबद्धता को दोहराते हुए अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने कहा कि जो भी आतंकी संगठन अमेरिका के लोगों को नुकसान पहुंचाने की कोशिश करेगा, अमेरिका उसे नष्ट कर देगा। ओबामा ने राष्ट्र के नाम संबोधन में कहा कि यह लड़ाई इस्लाम और अमेरिका की नहीं है। मुस्लिम समुदाय हमारे घरेलू साथी हैं। आईएसआईएस इस्लाम की बात नहीं करता है। वो लोग हत्यारे हैं। हमारा देश 9/11 के बाद से ही युद्ध की कगार पर है। यह आतंकवाद था। हम ऐसे कैंसर का सामना कर रहे हैं जिसका कोई इलाज नहीं है। लेकिन हम अपनी मजबूती और निर्ममता से इसका सामना कर जीतेंगे।
हालांकि ओबामा ने अफगानिस्तान और इराक की तरह व्यापक स्तर पर जमीनी सेनाएं भेजने की संभावनाओं को खारिज कर दिया। व्हाइट हाउस के ओवल ऑफिस से राष्ट्र के नाम दिए गए दुर्लभ संबोधन में ओबामा ने कहा कि आईएसआईएस को नष्ट करने की उनकी रणनीति को अमेरिकी सेना के कमांडरों और आतंकवाद रोधी विशेषज्ञों ने तैयार किया है। इस रणनीति को अमेरिकी नेतृत्व वाले गठबंधन में शामिल 65 देशों का समर्थन प्राप्त है। ओबामा ने कहा कि आतंकवाद का खतरा वास्तविक है लेकिन अमेरिका इससे निपट लेगा। उन्होंने कहा कि हम हर उस संगठन को नष्ट कर देंगे, जो हमें नुकसान पहुंचाने की कोशिश करेगा।ओबामा ने कहा कि मुस्लिम समुदाय को नफरत फैलाने वाली विचारधारा को खारिज करना चाहिए, जो आईएसआईएस फैला रहा है। यह हमारी जिम्मेदारी है कि हम हर उस प्रस्ताव को नकार दें जो मुसलमानों के साथ अलग व्यवहार करता हो। आजादी भय से ज्यादा शक्तिशाली होती है। भेदभाव को खत्म करना हर अमेरिकी नागरिक की जिम्मेदारी है।