नई दिल्ली, नोटबंदी के फैसले का जोरदार ढंग से बचाव करते हुए भाजपा ने आज कहा कि यह कदम राष्ट्रीय हित में उठाया गया है तथा इससे देश में भ्रष्टाचार, कालाधन एवं आतंकवादी गतिविधियों पर लगाम लगेगी और दीर्घकाल में अर्थव्यवस्था को लाभ मिलेगा। भाजपा नेता एवं केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने नोटबंदी के बारे में विपक्ष के कार्यस्थगन प्रस्ताव पर राज्यसभा में हुयी चर्चा में हस्तक्षेप करते हुए कहा कि भ्रष्टाचार, काला धन और आतंकवाद पर लगाम कसने के उद्देश्य से 500 रुपये और 1000 रुपये के नोटों को अमान्य करने के मोदी सरकार के फैसले का देश ने स्वागत किया है। उन्होंने कहा लेकिन कुछ लोगों का इस बारे में चिंतित होना स्वाभाविक भी है।
बिजली, कोयला, खान और अक्षय ऊर्जा मंत्री गोयल ने कहा इस फैसले से देश में ईमानदार का सम्मान हुआ है और बेईमान का नुकसान हुआ है। उन्होंने कहा कि इस कदम की वजह से कुछ परेशानी तो होनी ही थी लेकिन इसके बावजूद लोगों ने इस कदम का समर्थन किया है। गोयल ने कहा कि जब वर्ष 2014 में नई सरकार ने कार्यभार संभाला था तब देश भ्रष्टाचार और घोटालों में उलझा हुआ था। अब मोदी सरकार ने एक कदम उठाया है जिसके माध्यम से वह लोगों की अपेक्षाओं पर खरे भी उतरे हैं। उन्होंने कहा लेकिन ऐसे लोग भी हैं जो इस कदम से खुश नहीं हैं। यह भ्रष्टाचार, आतंकवाद, नशीली दवाओं के खिलाफ लड़ाई की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है और राजनीतिक दलों को इस पर खुश होना चाहिए। नोटबंदी के कदम को उचित ठहराते हुए गोयल ने यह भी दावा किया कि उपलब्ध दस्तावेजों और रिपोर्टों के आधार पर भारतीय रिजर्व बैंक ने महसूस किया कि बड़ी मात्रा में रकम या तो वितरित नहीं हो रही है या सरकारी खजाने में नहीं आ रही है। उसने विश्लेषण कर पाया कि यह रकम छिपा कर रखी गई है। उन्होंने कहा कि सरकार इसके बारे में विशेष आंकड़े नहीं बता सकती लेकिन आरबीआई ने सरकार को एक प्रस्ताव दिया जिसे मंत्रिमंडल के समक्ष रखा गया। इस कदम को मंजूरी मंत्रिमंडल ने दी। गोयल ने कहा कि ईमानदारी से कमाए गए धन पर कोई रोक नहीं है इसलिए किसी को समस्या नहीं होनी चाहिए। विपक्ष द्वारा जताई गई आपत्तियों पर गोयल ने कहा कि कुछ लोग कह रहे हैं कि सात दिन या दस दिन का समय दिया जाना चाहिए था। लेकिन ऐसे कदम के लिए गोपनीयता सर्वाधिक महत्वपूर्ण होती है। नोटबंदी के फायदे बताते हुए गोयल ने कहा कि दीर्घकाल में ब्याज दरें कम हो जाएंगी, महंगाई घटेगी और करों की दरें नीचें आएंगी। गोयल ने कहा अगर पांच फीसदी लोग भी कर नहीं देते तो उसका खामियाजा 95 फीसदी लोगों को भुगतना पड़ता है और वह इसकी कीमत चुकाते हैं। अगर कर दिया जाता है तो केंद्र सरकार के पास किसानों, महिलाओं, अनुसूचित जाति जनजाति तथा पिछड़े वर्ग के लोगों और अन्य के कल्याण के लिए काम करने के वास्ते अधिक धन उपलब्ध होगा। उन्होंने उत्तर प्रदेश में आसन्न विधानसभा चुनावों में फायदा उठाने के मद्देनजर यह कदम उठाए जाने के विपक्ष के आरोप को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि ऐसे बयानों की असलियत इसी बात से साबित हो जाती है कि लोग इस कदम का समर्थन कर रहे हैं। गोयल ने कहा कि कुछ लोग कह रहे हैं कि सरकार को उन लोगों के नामों का खुलासा करना चाहिए जिनके स्विस बैंक और अन्य विदेशी बैंकों में खाते हैं। लेकिन अगर ऐसा किया गया तो सरकार के लिए ऐसे खातों के बारे में और जानकारी हासिल करना मुश्किल हो जाएगा।