ओबीसी आरक्षण की मांग को लेकर कापू क्यों आंदोलित

आंध्र प्रदेश के पूर्वी गोदावरी जिले में आरक्षण की मांग को लेकर हिंसक प्रदर्शन करने वाले कापू समुदाय के बवाल के चलते पूरे दिन आंध्र में रेल यातायात बाधित रहा. कापू समुदाय ने अपने लिए आरक्षण की मांग करते हुए रत्नांचल एक्सप्रेस की आठ बोगियों समेत कई अन्य वाहनों को भी फूंक डाला.  इनके द्वारा अपना आंदोलन वापस लेने के बाद जाम पड़े सभी रेल रूटों को बहाल कर दिया गया था.

तेलुगु में कपू या कापू शब्‍द का मतलब किसान होता है.कापू शांतिप्रिय समुदाय है, लेकिन कई सेनाओं के हमलों की वजह से ये सैनिक भी बन गए.ये मुख्य रूप से उत्तरी तेलंगाना और रायलसीमा में पाए जाते हैं. कापू समुदाय के लोग तमिलनाडु, कर्नाटक, केरल, महाराष्‍ट्र, छत्‍तीसगढ़, ओड‍िशा और श्रीलंका के कुछ हिस्‍सों में मिलते हैं.कापू की उपजातियों में बलीजा, तेलगा, ओंतरी, मुनुरू कापू और तुर्पू कापू शामिल हैं.आंध्र के तटीय इलाकों में इनकी हैसियत वही है जो जाटों और पाटीदारों की अपने-अपने राज्‍यों में है.

आंध्र की आबादी में ये तकरीबन 16 से 20 फीसदी हैं. बीस फीसदी भागीदारी होने के बावजूद सरकारी सेवाओं में इनकी उपस्थिति 5 फीसदी से भी कम है.

 

 

 

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button