नई दिल्ली, नोटबंदी के बाद लोगों ने कालेधन को सफेद करने का सबसे आसान रास्ता खोज लिया है। कालेधन की करोड़ों की रकम लोग खपा रहे हैं। संसद की एक समिति ने नोटबंदी के बाद एक-एक करोड़ रुपये से अधिक की आय को कृषि आय दिखाने के बढ़ते मामलों पर चिंता जताई है।
समिति ने कहा है कि सरकार को सतर्क रहना चाहिए ताकि कृषि आय की आड़ में कालेधन को वैध नहीं किया जा सके। स्थायी संसदीय समिति (वित्त) ने लोकसभा में पेश अपनी रपट में यह बात कही है। समिति के अध्यक्ष कांग्रेस नेता वीरप्पा मोइली हैं। रपट में एक एक करोड़ रुपये से अधिक की कृषि आय के मामलों में अचानक आई वृद्धि को रेखांकित किया गया है और ऐसे महत्वपूर्ण मुद्दे पर राजस्व विभाग के रवैये पर असंतोष जताया है। समिति ने कहा है कि नोटबंदी के मद्देनजर कृषि आय कालेधन को वैध बनाने का जरिया नहीं बन जानी चाहिए। सरकार ने नोटबंदी के तहत 1000 व 500 रुपये के मौजूदा नोटों को चलन से बाहर कर दिया है।