सिवनी, मध्यप्रदेश के सिवनी जिले के आदिवासी बहुल कुरई विकासखंड क्षेत्र में जनजातीय समुदाय से जुड़े दो लोगों की पीट पीट कर हत्या के मामले में आज सुबह तक 13 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है।
पुलिस सूत्रों के अनुसार धानसा इनवाती और संपत बट्टी नाम के दो लोगों को कुछ लोगों के समूह ने सोमवार की रात्रि में पकड़कर अपने कब्जे में ले लिया था। लोगों काे शक था कि ये दोनों गौवंश की तस्करी से जुड़े हैं और हाल ही में इन्होंने एक गाय की हत्या की है।
इसी बात को लेकर दोनों से पूछताछ के दौरान लोगों ने उनकी पिटायी कर दी, जिससे दोनों की मृत्यु हो गयी। इस घटना की जानकारी मंगलवार को उनके गांव के लोगों को लगी और इसके विरोध स्वरूप विधायक अर्जुन काकोड़िया समेत कांग्रेस नेताओं की अगुवायी में स्थानीय लोगों ने लगभग छह घंटे तक चक्काजाम किया। इस वजह से सिवनी नागपुर मार्ग पर वाहनों की कतार लग गयीं।
कांग्रेस नेताओं ने आरोप लगाया कि जनजातीय समुदाय से जुड़े दोनों लोगों की हत्या के आरोपी एक संगठन विशेष से जुड़े हैं और उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई होना चाहिए। इन नेताओं ने कहा कि आरोपियों के ठिकानों पर बुल्डोजर भी चलना चाहिए।
इस बीच सिवनी जिला पुलिस अधीक्षक कुमार प्रतीक ने बताया कि 2 व 3 मई की रात हुई इस घटना में घायल ब्रजेश बट्टी नाम के व्यक्ति की रिपोर्ट पर 6 ज्ञात और 10-12 अज्ञात आरोपियों के विरुद्ध हत्या और अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। इस प्रकरण में पुलिस ने मंगलवार की देर शाम तक 9 आरोपियों शेर सिंह राठौर, अजय साहू, वेदांत चैहान, दीपक अवधिया, बसंत रघुवंशी, रघुनंदन रघुवंशी, अशुंल चैरसिया, शिवराज रघुवंशी और रिंकू पाल को गिरफ्तार कर लिया था। इसके बाद आज सुबह तक 4 और गिरफ्तारियां की गई हैं।
श्री प्रतीक ने बताया कि घटना में मृत संपत बट्टी के विरुद्ध पिछले वर्ष गौ मांस तस्करी का प्रकरण पुलिस चौकी बादलपार के अंतर्गत दर्ज था और वह इस सिलसिले में जेल भी गया था।
दूसरी ओर इस घटना को लेकर केन्द्रीय मंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते भी मंगलवार रात सिवनी मुख्यालय पहुंचे और कलेक्टर तथा पुलिस अधीक्षक से घटना के संबंध में विस्तृत जानकारी हासिल की। पत्रकारों से चर्चा में श्री कुलस्ते ने कहा कि प्रशासन ने त्वरित कार्रवाई करते हुए आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि प्रथम दृष्टया किसी विशेष संगठन का इस हत्याकांड में शामिल होने का कोई प्रमाण नहीं मिला है। हत्या के कारणों की जांच करने के लिये उप पुलिस अधीक्षक (डीएसपी) स्तर का अधिकारी नियुक्त किया जा रहा है।
दूसरी ओर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ के निर्देश पर इस मामले की जांच के लिए एक समिति गठित की गयी है, जिसमें विधायक ओंकार सिंह मरकाम, डॉक्टर अशोक मार्सकोले और नारायण पट्टा शामिल हैं। वे इससे जुड़े तथ्यों को प्रदेश कांग्रेस को सौंपेंगे।