ट्रक-बस चालकों की हड़ताल के कारण पंपों पर लगी वाहनों की कतार

सिरसा, केंद्र सरकार के नए हिट एंड रन कानून पर देशभर में बवाल खड़ा हो गया है। हाल ही में कानून में किए गए संशोधन का निजी ट्रक और बस चालक देशभर में चक्का जाम कर विरोध कर रहे हैं। हरियाणा में ट्रक ड्राइवरों व प्राइवेट बस ऑपरेटरों की हड़ताल के चलते हाहाकार मचा हुआ है। विशेषकर ट्रक व तेल टेंकर चालकों ने अपने वाहनों का पहिया रोककर उन्हें पंपों पर खड़ा कर दिया है। कई चालक मंगलवार को अपने ट्रकों को ठंड के बावजूद धोते पोंछते नजर आए।

हरियाणा व पंजाब में पेट्रोल पंपो पर वाहनों की लंबी-लंबी कतारें लगी हुई हैं। हड़ताल के कारण जनता तक जरूरी सब्जियां, गैस सिलेंडर व अन्य जरू री सामान पहुंचने में दिक्क्त की संभावना जताई जा रही है। जिससे आम जनता को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
बुधवार को रोडवेज कर्मी भी वाहन चालकों के समर्थन में दो घंटे तक प्रदर्शन क रेंगे। इस प्रदर्शन के बाद रोडवेज बसों की हड़ताल करने को लेकर आगामी निर्णय लिया जाएगा।

वहीं,सिरसा ट्रक यूनियन के प्रधान गुरमीत सिंह बिट्टू का कहना है कि सिरसा में ऐतिहासिक गुरु द्वारा चिल्ला सहिब के सालाना समागम को देखते हुए दो दिन के लिए सिरसा में ट्रकों की हड़ताल को स्थगित किया गया है, मगर उनका देश भर में चल रही हड़ताल को पूरा समर्थन है।

आज ट्रक यूनियन की प्रदेश स्तर की बैठक अंबाला में होने वाली है। बैठक में आगे की रणनीति पर विचार किया जाएगा। बैठक में जो भी निर्णय लिया जाएगा, सिरसा ट्रक यूनियन उसके अनुसार आंदोलन में बढ़ चढ़ कर भाग लेगी। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने जो कानून बनाया है, यह पूरी तरह से वाहन चालकों के खिलाफ एक तुगलकी फरमान है, जिसे स्वीकार नहीं कि या जा सकता। उनका कहना है कि दुर्घटनाएं जानबूझकर नहीं की जाती है। दुर्घटना के बाद ड्राइवरों को अक्सर डर होता है कि अगर वे हादसे के शिकार घायलों को अस्पताल ले जाने का प्रयास करते हैं तो उन्हें भीड़ की हिंसा का शिकार होना पड़ सकता है इसलिए इस कानून को रद्द कि या जाए।

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