नई दिल्ली, दलितों पर हमले के मुद्दे की गर्माहट आज लोकसभा में महसूस की गई और विपक्ष के सदस्यों ने प्रधानमंत्री से सदन में बयान देने की मांग करते हुए न केवल अध्यक्ष के आसन के समीप आकर नारेबाजी की बल्कि बाद में वे सदन से वाकआउट भी कर गए। कांग्रेस सदस्यों ने प्रधानमंत्री से मांग की कि भाषण देने की बजाए कार्रवाई करें।
इस मुद्दे पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के सार्वजनिक बयान पर कांग्रेस सांसदों ने आज सदन में नारेबाजी करते हुए कहा कि घड़ियाली आंसू नहीं बहाएं, भाषण देने की बजाए कार्रवाई करें। शून्यकाल शुरू होने के बाद सदन में कांग्रेस के नेता मल्लिकार्जुन खडगे इस विषय पर कुछ बोलना चाहते थे लेकिन अध्यक्ष ने तत्काल इसकी अनुमति नहीं दी। इस पर कांग्रेस सदस्य नारेबाजी करते हुए अध्यक्ष के आसन के समीप आकर नारेबाजी करने लगे। अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने कहा कि वह मना नहीं कर रही हैं। शून्यकाल की सूची समाप्त होने के बाद ही वह सदस्य को बोलने का मौका देंगी क्योंकि उन्होंने नोटिस नहीं दिया है। उन्होंने बार बार सदस्यों से अपने स्थान पर जाने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि उन्होंने मना नहीं किया है लेकिन कई छोटे छोटे दल हैं जो अपनी बात रखना चाहते हैं और उनके साथ ऐसा करना अन्याय होगा। सदन में गृह मंत्री राजनाथ सिंह और संसदीय कार्य मंत्री अनंत कुमार को खडगे की ओर कुछ संकेत करते देखा गया। अध्यक्ष द्वारा तत्काल खडगे को बात रखने की अनुमति नहीं दिये जाने पर कांग्रेस सदस्यों ने सदन से वाकआउट किया।