झांसी, सरकारी और गैर सरकारी नौकरियों के लिए प्रयास करने वाले छात्रों की मदद के लिए उत्तर प्रदेश सरकार “ अभ्युदय योजना” शुरू करने जा रही है जिसके तहत लगनशील और इच्छुक छात्रों को संघ और राज्य लोक सेवा आयोग,मेडिकल , इंजीनियरिंग के साथ अन्य रोजगारपरक नौकरियों में जाने के लिए जरूरी गुणवत्तापूर्ण प्रशिक्षण ऑनलाइन और ऑफलाइन नि:शुल्क प्रदान किया जायेगा।
यहां आयुक्त सभागार में झांसी मंडलायुक्त सुभाष चंद्र शर्मा और नगर आयुक्त अवनीश राय ने सोमवार को पत्रकारों को सरकार की इस महत्वाकांक्षी योजना के बारे में सविस्तार बताया कि प्रदेश में प्रतियोगी परीक्षाओं जैसे सिविल सेवा, जेईई, नीट, एनडीए, सीडीएस इत्यादि निजी क्षेत्र में प्रशिक्षण व्यवस्थाओं में संसाधनों की कमी से ग्रामीण क्षेत्र तथा निर्बल आय वाले परिवार के बच्चे प्रतिभावान व लगनशील होते हुए भी इन परीक्षाओं की गुणवत्ता परक तैयारी नहीं कर पाते हैं। इससे एक ओर तो उनकी प्रतिभाओं का सही इस्तेमाल नहीं हो पाता है और दूसरी ओर समाज भी इनकी सेवाओं से वंचित रह जाता है। ऐसे में आवश्यकता प्रतीत हुई है कि प्रतियोगी परीक्षाओं के स्तर समय-समय पर परिवर्तित होते हुए पाठ्यक्रम के अनुरूप विषय विशेषज्ञों के मार्गदर्शन में प्रदेश के सभी युवाओं के लिए राजकीय क्षेत्र में परीक्षा पूर्व प्रशिक्षण केंद्रों की स्थापना हो ताकि प्रदेश का युवा बिना किसी चिंता के प्रतियोगी परीक्षाओं में शिरकत कर सके।
इसके लिए 16 फरवरी बसंत पंचमी के शुभ अवसर पर मुख्यमंत्री अभ्युदय योजना के अंतर्गत एक निशुल्क प्रशिक्षण केंद्र प्रदेश के प्रत्येक मंडल मुख्यालय पर मंडलायुक्त की अध्यक्षता में संचालित किए जाने का निर्णय लिया गया है। इन प्रशिक्षण केन्द्रों को अगले चरण में प्रत्येक जनपद पर भी स्थापित किया जाएगा। इस योजना के तहत तीन प्रकार की परीक्षाओं के लिए प्रशिक्षण उपलब्ध कराया जायेगा। प्रथम स्तर पर संघ लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित परीक्षाएं,उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग,अधीनस्थ सेवा चयन आयोग व अन्य भर्ती बोर्ड संस्थाओं द्वारा आयोजित परीक्षाएं दूसरे स्तर पर मेडिकल और इंजीनियरिंग के क्षेत्र में एनटीए आयोजित जेईई मेंस एवं नीट की परीक्षाएं तथा तीसरे स्तर पर अन्य प्रतियोगी परीक्षाएं जैसे एनडीए,सीडीएस व अन्य सैन्य सेवाएं, अर्धसैनिक केंद्र पुलिस बल की भर्ती संबंधी, बैंकिंग पीओ, एसएससी,बीएड, टीईटी तथा अन्य प्रतियोगी परीक्षाएं आदि। इसके साथ ही संघ लोक सेवा आयोग उत्तर प्रदेश व लोक सेवा आयोग की मुख्य परीक्षा एवं साक्षात्कार का प्रशिक्षण दिया जाएगा।
शासन की उच्च प्राथमिकता वाले उद्देश्य को पूर्ण करने व नई व्यवस्था के अंतर्गत इस मुख्यमंत्री अभ्युदय योजना में राज्य सरकार में कार्यरत आईएएस,आईपीएस,भारतीय वन सेवा,पीसीएस,पीपीएस संवर्ग एवं अन्य संवर्ग के अधिकारियों, सेवानिवृत्त अधिकारियों, विषय वस्तु विशेषज्ञों के द्वारा संघ लोक सेवा आयोग व राज्य लोक सेवा आयोग आदि के प्रतियोगी छात्रों के लिए राज्य स्तर व मंडल स्तर पर साक्षात व वर्चुअल कक्षाओं के माध्यम से नि:शुल्क मार्गदर्शन एवं शिक्षण प्रदान किया जाएगा। राज्य स्तर पर विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं से संबंधित डिजिटल कंटेंट उपलब्ध कराने हेतु एक ई लर्निंग प्लेटफॉर्म की व्यवस्था एवं इसके माध्यम से वर्चुअल कक्षाओं का आयोजन किया जाएगा।
मंडल मुख्यालय पर विषय वस्तु विशेषज्ञों द्वारा वर्चुअल साक्षात कक्षाओं एवं युवाओं के लिए करियर काउंसलिंग सत्रों का आयोजन किया जाएगा। राज्य स्तरीय समिति व मंडल स्तरीय समिति उपाम के प्रवक्ताओं द्वारा व्याख्यान को फेसबुक पेज पर तथा यूट्यूब चैनल के माध्यम से भी प्रसारित किया जाएगा। इसके लिए एक फेसबुक पेज तथा यूट्यूब चैनल भी स्थापित किया जाएगा यह सुविधा मोबाइल फोन पर भी उपलब्ध होगी। इसके लिए पोर्टल का एक मोबाइल एप भी विकसित किया जाएगा जो निशुल्क उपलब्ध रहेगा।
राज्य स्तरीय व मंडल स्तरीय समिति के माध्यम से योजना का क्रियान्वयन किया जाएगा। राज्य स्तरीय समिति हेतु उत्तर प्रदेश प्रबंधन अकादमी लखनऊ नोडल संस्था तथा समाज कल्याण नोडल विभाग होगा। मंडल स्तरीय समिति हेतु नोडल अधिकारी का चयन मंडलायुक्त द्वारा किया जाएगा।मंडल स्तर पर वर्चुअल एवं साक्षात कक्षाओं का आयोजनविभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के छात्रों की सहायता के लिए मंडल स्तर पर वर्चुअल एवं साक्षात कक्षाओं का आयोजन किया जाएगा। जिसके लिए मंडलायुक्त की अध्यक्षता में राज्य स्तरीय लर्निंग प्लेटफॉर्म पर पंजीकरण कराएगा। पंजीकृत छात्रों को कक्षाओं की समय सारणी व वर्चुअल क्लासेस की लिंक उपलब्ध कराई जाएगी। मंडल स्तर पर होने वाली साक्षात कक्षाओं का प्रसार ऑनलाइन लिंक के माध्यम से कराया जाएगा जिससे ज्यादा से ज्यादा प्रतिभागी लाभान्वित हो।
मेधावी छात्रों का चयनप्रत्येक वर्ष में एक बार उपाम द्वारा निर्धारित तिथि के अनुसार संबंधित कोर्स में प्रतिभाग से पूर्व समस्त अभ्यर्थियों की आवश्यकता अनुसार एक पात्रता परीक्षा आयोजित चयन प्रक्रिया निर्धारित की जाएगी। इस प्रक्रिया के आधार पर चयनित अभ्यर्थियों का चयन मंडल स्तर पर ऑफलाइन क्लासेज क्लास रूम प्रशिक्षण के लिए मंडलायुक्त की अध्यक्षता में गठित समिति द्वारा किया जाएगा। अधिकारियों द्वारा मार्गदर्शनमंडलीय समिति द्वारा प्रत्येक जिले में कार्यरत अधिकारियों का एक पैनल बनाया जाएगा एवं इस पैनल द्वारा मार्गदर्शन और शिक्षण कार्य किया जाएगा। आईएएस, आईपीएस, आईएफएस, पीसीएस तथा राज्य स्तरीय अधिकारियों को अभ्यर्थियों का मेंटरशिप का कार्य करेंगे। यह योजना 16 फरवरी से विधिवत मुख्यमंत्री द्वारा शुभारंभ कर लागू होगी।
उन्होंने बताया कि राजकीय इण्टर कॉलेज में 17-18 स्मार्ट कक्ष बनकर तैयार हो चुके हैं। उनमें ये कक्षाएं संचालित होंगी, वर्चुअल क्लासेज घर बैठे ही पढ़ी जा सकेंगी जबकि जल्द ही विश्वविद्यालय में भी कक्षाओं को संचालित करने का विचार बनाया जाएगा। उन्होंने बताया कि प्रदेश के सभी 18 मण्डलों के कुल 25 हजार अभ्यर्थी लाभान्वित होंगे। इसके अलावा जो भी रजिस्टेशन कराता है उसको किसी न किसी रुप में कक्षा उपलब्ध कराना हमारा दायित्व होगा। इन प्रशिक्षण केंद्रों के सक्सेस रेट का आकलन करने के लिए भी राज्य एवं मंडल स्तर पर समिति गठित की जायेगी। इन प्रशिक्षण केंद्रों से कितने छात्रों का चयन परीक्षाओं में होता है उसके आधार पर यहां दी जा रही गुणवत्तापूर्ण प्रशिक्षण का आकलन भी किया जायेगा।