नई दिल्ली पाकिस्तानी पुलिस ने भारत की खुफिया एजेंसी ‘रॉ’ पर नवंबर में कराची स्थित चीन के वाणिज्य दूतावास पर हुए आतंकी हमले में शामिल होने का आरोप लगाया, जिसे भारत ने मनगढ़ंत और झूठा बताते हुए खारिज कर दिया.
आतंकवाद पर दोहरे रवैये के कारण अमेरिका के नाराज होने के बाद पाकिस्तान अब चीन से नज़दीकी बढ़ा रहा है. उधर, सीमा विवाद और डोकलाम जैसे प्रकरण के सामने आने के बावजूद चीन के भारत के साथ अच्छे रिश्ते हैं. एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कराची पुलिस के प्रमुख आमिर शेख ने रॉ को लेकर ये दावे किए. उन्होंने कहा कि गिरफ्तार किए गए लोगों ने तीन हमलावरों की मदद करने की बात कबूली है. तीनों हमलावर हमले के दौरान मारे गए थे.
पाकिस्तान के इस दावे पर प्रतिक्रिया देते हुए नई दिल्ली में विदेश मंत्रालय के एक प्रवक्ता ने कहा, ‘हमने पाकिस्तानी मीडिया में कराची पुलिस प्रमुख के भारत पर लगाए गए झूठे आरोपों वाले बयान देखे हैं. हम पूरी तरह से इन मनगढ़ंत और झूठे आरोपों को खारिज करते हैं.’ विदेश मंत्रालय ने कहा, ‘इस तरह की आतंकवादी घटनाओं के लिए दूसरों पर उंगली उठाने के बजाय, पाकिस्तान को अपने क्षेत्रों में आतंकवाद और आतंकवाद के बुनियादी ढांचे के खिलाफ विश्वसनीय कार्रवाई करने की जरूरत है.’
पिछले साल नवंबर में आधुनिक हथियारों से लैस तीन आतंकियों ने चीन के कांसुलेट में घुसने की कोशिश की थी. पाक सुरक्षाबलों के साथ हुए एनकाउंटर में तीनों आतंकी ढेर हो गए थे. हालांकि इस दौरान दो पुलिस अधिकारियों, दो वीजा आवेदकों की भी जान चली गई थी. विदेशी मिशन में तैनात एक प्राइवेट गार्ड हमले में घायल हो गया था. प्रतिबंधित बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी (BLA) ने इस हमले की जिम्मेदारी ली थी. चीन का यह मिशन बेहद सुरक्षा वाले इलाके में आता है, फिर भी आतंकी यहां तक कैसे पहुंचे, पाकिस्तान ने इस सवाल का जवाब आज तक नहीं दिया.