पटना, बिहार में उद्यमिता एवं नवाचार को बढ़ावा देने के लिए सूचना एवं प्रावैधिकी विभाग ने वर्ष 2024 में नई आईटी नीति लाई थी, जिसका असर अब पूरे प्रदेश में दिखने लगा है।
सरकार की नई आईटी नीति से न सिर्फ राज्य में चार हजार करोड़ रुपये के नए निवेश के प्रस्ताव मिले हैं बल्कि सरकार की इस पहल से राज्य के हजारों युवाओं को रोजगार से जोड़ने की मुहिम को एक नई रफ्तार भी मिली है।
राज्य के सूचना एवं प्रावैधिकी मंत्री कृष्ण कुमार मंटू ने सोमवार को बिस्कोमान भवन में राज्य की 10 नई स्टार्ट अप कंपनियों को नि:शुल्क ऑफिस स्पेस उपलब्ध कराया। इस मौके पर आईटी विभाग के सचिव अभय कुमार सिंह और विभाग के विशेष सचिव अरविन्द कुमार चौधरी समेत कई गणमान्य लोग उपस्थित थे। ये सभी ऑफिस स्पेस बिस्कोमान टावर की नौवीं और 13वीं मंजिल पर स्थित है।
इस मौके पर श्री मंटू ने सभी 10 नई आईटी कंपनियों के युवा संचालकों को उनके दफ्तर की चाबियां सौंपी। उन्होंने कहा कि बिहार आईटी नीति-2024 के तहत पहले से ही निवेशकों को पूंजीगत निवेश और रोजगार सृजन के अवसर दिए जा रहे हैं। इस नीति के तहत निवेशकों को पूंजी निवेश सब्सिडी, ब्याज अनुदान सब्सिडी, लीज रेंटल सब्सिडी, विद्युत बिल सब्सिडी, रोजगार सृजन सब्सिडी जैसे कई लाभ दिए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि युवाओं को रोजगार उपलब्ध कराना उनकी सरकार की प्राथमिकता है। इसके लिए हमें स्टार्ट अप को बढ़ावा देना होगा।