लखनऊ, उत्तर प्रदेश में 60 हजार 244 पुलिस आरक्षी पदों के लिये भर्ती परीक्षा शुक्रवार को कड़े सुरक्षा बंदोबस्त के बीच राज्य के 67 जिलों में स्थित 1174 परीक्षा केंद्रो में शुरु हो गयी।
31 अगस्त तक पांच दिनो में होने वाली इस परीक्षा में 60 लाख से अधिक अभ्यर्थी भाग ले रहे हैं। परीक्षा केंद्रो पर अभ्यर्थियों को कड़ी जांच के बाद प्रवेश दिया जा रहा है। परीक्षा केंद्रों पर मजिस्ट्रेट और वरिष्ठ पुलिस अधिकारी लगातार भ्रमण कर रहे हैं। परीक्षा दो पालियों में संपन्न करायी जायेगी।
पुलिस महानिदेशक प्रशांत कुमार ने पत्रकारों से कहा कि 67 जिलों में पांच दिनो तक चलने वाली परीक्षा में 60 लाख से ज्यादा बच्चे शामिल होगे। यह परीक्षा हर दिन दो पालियों में संपन्न होगी। परीक्षा को निर्विघ्न और पारदर्शिता के साथ संपन्न कराने के लिये सभी जगह पुलिस के अधिकारी तैनात हैं। इस बार ऐसी व्यवस्था की गई है कि किसी को कोई असुविधा ना हो।
उन्होने कहा कि जहां-जहां से भी गड़बड़ी की सूचनाएं मिल रही है, सभी जगह एफआईआर दर्ज की गई है। नकलविहीन परीक्षा संपन्न कराने में विघ्न डालने वालों को किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जायेगा। चाहे वह व्यक्ति कितना ही प्रभावशाली क्यों न हो। अभी तक कहीं से भी प्रश्न पत्र लीक होने की कोई सूचना नहीं है। जो लोग भी भ्रामक खबरें फैला रहे हैं उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी।
गौरतलब है कि प्रदेश सरकार ने आरक्षी नागरिक पुलिस सीधी भर्ती की परीक्षा को लेकर कड़े सुरक्षा प्रबंध किये हैं। हर परीक्षा केंद्र पर स्टैटिक मजिस्ट्रेट की तैनाती की गई है जबकि केंद्र में अभ्यर्थियों की संख्या के अनुरूप केंद्र पर्यवेक्षक के रूप में पुलिस उपाधीक्षक से लेकर सब इंस्पेक्टर मौजूद हैं,वहीं सीसीटीवी कैमरों से गहन निगरानी की जा रही है। सभी अभ्यर्थियों का बायोमैट्रिक वेरिफिकेशन के बाद भी उन्हे परीक्षा केंद्र में प्रवेश दिया जाएगा।
ये परीक्षाएं 23, 24, 25 और 30, 31 अगस्त को प्रदेश के सभी 67 जनपदों के 1174 सेंटर पर आयोजित की जा रही है।उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड (यूपीपीआरपीबी) की अध्यक्ष राजीव कृष्णा ने बताया कि परीक्षा के लिए विभिन्न प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों-कर्मचारियों की तैनाती की गई है, वहीं जिला स्तर पर जिलाधिकारी जनपदीय पर्यवेक्षक (मजिस्ट्रेट) के रूप में कार्य करेंगे। उनके द्वारा परीक्षा केन्द्र ड्यूटी, सेक्टर मजिस्ट्रेट, स्टैटिक मजिस्ट्रेट की तैनाती समेत अन्य प्रशासनिक व्यवस्थाएं की गयी हैं। इसके तहत जिलाधिकारी द्वारा हर सेंटर पर स्टैटिक मजिस्ट्रेट के साथ सहायक केंद्र पर्यवेक्षक की तैनाती की गई है।
इसके अलावा अपर जिलाधिकारी को सहायक नोडल अधिकारी (प्रशासन) के रूप में नियुक्त किया गया है जबकि 3 परीक्षा केंद्रों पर एक सेक्टर मजिस्ट्रेट की भी तैनाती हुई है। इतना ही नहीं नकलविहीन परीक्षा संपन्न कराने के लिए उड़ान दस्ते भी मुस्तैद रहेंगे। वहीं केंद्र पर्यवेक्षक के रूप में पुलिस उपाधीक्षक से लेकर सब इंस्पेक्टर मौजूद रहेंगे। प्रदेश के जिन सेंटर पर एक हजार से अधिक अभ्यर्थी होंगे, वहां पुलिस उपाधीक्षक तैनात रहेंगे। वहीं एक हजार तक अभ्यर्थी वाले सेंटर पर इंस्पेक्टर और पांच सौ तक अभ्यर्थी वाले सेंटर पर सब इंस्पेक्टर को नियुक्त किया गया है।
परीक्षा की शुचिता सुनिश्चित करने के लिए परीक्षा केन्द्र पर नियुक्त कर्मियों में से 50 प्रतिशत जिलाधिकारी और शेष 50 प्रतिशत केन्द्र व्यवस्थापक (प्रधानाचार्य) द्वारा नियुक्त किये गये हैं। इनमें परीक्षा सहायक प्रथम एवं द्वितीय जिलाधिकारी और केन्द्र व्यवस्थापक द्वारा नियुक्त किये जाएंगे जबकि 12 अभ्यर्थियों पर एक अंतरीक्षक को तैनात किया जाएगा। इसके साथ सहयाेगी अंतरीक्षक भी तैनात रहेंगे।
परीक्षा को पारदर्शी बनाने के लिए सही अभ्यर्थियों को प्रवेश दिया जाए, इसके लिए तकनीक का प्रयोग किया जाएगा। इसके लिए परीक्षा केन्द्र पर अभ्यर्थियों की चैकिंग, फ्रिस्किंग एवं पर्यवेक्षण की उचित व्यवस्था की गई है। केंद्र पर अभ्यर्थियों को प्रवेश फिजिकल फ्रिस्किंग, एचएचएमडी द्वारा फ्रिस्किंग, बायोमैट्रिक फिंगर प्रिन्ट एवं फेशियल रिकॉग्निशन के बाद ही दिया जायेगा। वहीं फेशियल रिकॉग्निशन न होने पर एफआरआईएस कैप्चर करने की भी व्यवस्था की गई है।
फेशियल रिकॉग्निशन में संशय होने पर अभ्यर्थी का आधार ऑथेंटिकेशन कराया जाएगा। इसके अलावा सभी केन्द्रों पर इलेक्ट्रानिक डिवाइसेज जैसे मोबाइल, ब्लूटूथ को निष्क्रिय करने के लिये जैमर लगाए जाएंगे। परीक्षा कक्ष एवं केन्द्र में सीसीटीवी लगाकर निगरानी की जा रही है, जिसका लाइव फीड केन्द्र के कन्ट्रोल रूम, जनपद के कन्ट्रोल रूम एवं भर्ती बोर्ड मुख्यालय के कन्ट्रोल रूम में प्राप्त होगी।