मुंंबई, कोरोना की दो-दो लहर झेल चुकी भारतीय अर्थव्यवस्था के अब टीकाकरण से आयी तेजी के बल पर अब और तीव्र गति से बढ़ने की उम्मीद से पिछले पांच सप्ताह से नया रिकाॅर्ड बना रहे भारतीय शेयर बाजार में अगले सप्ताह भी तेजी बने रहने की उम्मीद जतायी जा रही है लेकिन कुछ विश्लेषकों ने इसमें तीव्र करेक्शन की आशंका भी जतायी है।
बीएसई का 30 शेयरों वाला संवेदी सूचकांक सेंसेक्स बीते सप्ताह सरपट दौड़ते हुये पहली बार 60 हजार अंक के स्तर को न:न सिर्फ पार कर गया बल्कि 60333 अंक के उच्चतम स्तर को भी छुआ। इस दौरान यह इससे पिछले सप्ताह की तुलना में 1032.58 अंकों की जबरदस्त उछाल लेकर 60048.47 अंक पर पहुंच गया। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) का निफ्टी भी इस दौरान 18 हजारी होने को बेताब दिखा। निफ्टी सप्ताहांत पर 18 हजार अंक की ओर लपकते हुये 17947 अंक तक चढ़ा और यह 268.05 अंकाें की बढ़त के साथ 17853.20 अंक पर रहा।
दिग्गज कंपनियों की तुलना में मझौली और छोटी कंपनियों पर दबाव दिखा। समीक्षाधीन अवधि में बीएसई का मिडकैप 148.26 अंक बढ़कर 25194.84 अंक पर रहा। इस दौरान बीएसई का स्मॉलकैप 16.55 अंकों की मामूली बढ़त हासिल कर सका और यह 28023.34 अंक पर रहा।
केवल 31 वर्षाें में एक हजार अंक से लेकर 60 हजार अंक तक का सफर करने वाले सेंसेक्स ने निवेशकों को भी मालामाल किया है। आठ महीने से कुछ अधिक दिनों में 10 हजार अंक जोड़कर सेंसेक्स 60 हजारी हुआ है। 21 जनवरी 2021 को यह 50 हजार अंक का स्तर पार किया था। इस दौरान बीएसई का बाजार पूंजीकरण भी 2,61,539.92 करोड़ रुपये पर पहुंच गया।
विश्लेषकों का कहना है कि शेयर बाजार में जिस तरह की तेजी दिख रही है उससे साफ लग रहा है कि यह वर्ष 2024 से पहले की एक लाख अंक के स्तर पर पहुंच जायेगा। मात्र आठ महीने में 10 हजार अंक जोड़ने वाला सेंसेक्स अगले सप्ताह भी नया रिकाॅर्ड बना सकता है क्योंकि विदेशी निवेशक के साथ ही घरेलू निवेशक भी अब परिपक्व होते दिख रहे हैं और वे सतर्कता से निवेश कर पूंजी बना रहे हैं।
वहीं, कुछ विश्लेषकों ने आशंका जतायी है कि शेयर बाजार में तेजी जारी रहने के बीच 10 फीसदी तक का करेक्शन दिख सकता है क्योंकि जिस गति से बाजार में तेजी आयी है उसके मद्देनजर विदेशी निवेशकों के मुनाफा काटने से इंकार नहीं किया जा सकता है। जिस तरह पिछले सप्ताह एक दिन बाजार में 500 से अधिक अंकों की गिरावट आयी थी उसी तरह से आगे भी किसी भी दिन मुनाफावसूली दिख सकती है इसलिए छोटे निवेशकों विशेषकर खुदरा निवेशकों को सतर्क रहने की आवश्यकता है लेकिन पूंजी बाजार की तेजी का लाभ उठाने के लिए कुछ जोखिम उठाना पड़ेगा।
विश्लेषकों का कहना है कि चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही अगले सप्ताह समाप्त होने वाली है और इस तिमाही में कंपनियों के बंपर परिणाम की उम्मीद की जा रही है क्योंकि काेरोना की दूसरी लहर के बाद अब अधिकांश क्षेत्रों से प्रतिबंध हटाये जा चुके हैं और अब आर्थिक गतिविधियां तेजी से बढ़ रही है। इसक भी असर बाजार पर अभी से दिख रहा है और अगले सप्ताह बाजार को गति देने के कारकों में यह भी शामिल हो सकता है।
सोमवार को निवेशकों की सतर्कता से विदेशी बाजारों में आई गिरावट के बीच ऊंचे भाव पर हुई चौतरफा मुनाफावसूली के दबाव में सोमवार को घरेलू शेयर बाजार करीब एक प्रतिशत तक लुढ़क गया। सेंसेक्स बिकवाली के दबाव में 524.96 अंक की बड़ी गिरावट लेकर 59 हजार अंक के नीचे 58,490.93 अंक पर और निफ्टी 188.25 अंक टूटकर 17396.90 अंक पर रहा। मंगलवार को वैश्विक स्तर से मिले सकारात्मक संकेतों के साथ ही घरेलू स्तर पर हुयी चौतरफा लिवाली के बल पर शेयर बाजार पिछले सत्र की गिरावट से उबरते हुये जबरदस्त लिवाली के बल पर बढ़त बनाने में सफल रहा। इस दौरान सेंसेक्स फिर से 59 हजार अंक के स्तर को पार कर गया और निफ्टी भी 17500 अंक के पार पहुंचने में सफल रहा। सेंसेक्स 514.34 अंकों की बढ़त के साथ 59005.27 अंक पर और निफ्टी 165.10 अंकों की बढ़त लेकर 17562 अंक पर रहा। बुधवार को बिकवाली के दबाव में बुधवार का सेंसेक्स फिर से 59 हजार अंक के शिखर से नीचे उतर गया।
सेंसेक्स 77.94 अंक फिसलकर 58927.33 अंक पर और निफ्टी 15.35 अंक गिरकर 17546.65 अंक पर रहा।
गुरुवार को सेंसेक्स 958.03 अंकों की छलांग लगाकर 59,885.36 अंक पर और निफ्टी 276.30 अंक उछलकर 17822.95 अंक पर रहा। कर्ज के बोझ से दबी चीन की रियल्टी क्षेत्र की दूसरी बड़ी कंपनी एवरग्रैनेड पर जल्द ही नियामक की कार्रवाई होने की अटकलों से विदेशी बाजारों में आई गिरावट के बावजूद स्थानीय स्तर पर मजबूत लिवाली के दम पर सेंसेक्स 60 हजार अंक को पार कर नया इतिहास रच दिया। सेंसेक्स सर्वकालिक 60,333 अंक के उच्चतम स्तर पर पहुंचने के बाद बिकवाली के बावजूद 163.11 अंक चढ़कर अबतक के रिकॉर्ड 60,048.47 अंक पर रहा। निफ्टी 30.25 अंक की मामूली बढ़त लेकर 17853.20 अंक पर रहा।