शोध का वास्तविक लाभ समाज और जनता तक पहुंचाना बहुत जरूरी: आनंदीबेन पटेल

झांसी, उत्तर प्रदेश की राज्यपाल और झांसी स्थित बुंदेलखंड विश्वविद्यालय की कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल ने कहा है कि विश्वविद्यालय में होने वाले शोध का वास्तविक लाभ समाज और जनता तक पहुंचाना बहुत जरूरी है।

उन्होंने बुधवार को विश्वविद्यालय के 30 वें दीक्षांत समारोह में अपने संबोधन में कहा कि शोध कर फाइलों में बंद कर देना पर्याप्त नहीं बल्कि उसके आधार पर सुधारात्मक निर्णय होने चाहिए। शोध के परिणाम का यदि सही उपयोग न हो तो वह केवल दस्तावेज बनकर रह जाता है। उन्होंने रिसर्च प्राेजेक्ट्स में फंडिंग एजेंसियों की पारदर्शिता पर सवाल उठाये और उनके द्वारा की जाने वाली अनियमितताओं की समीक्षा की जरूरत को रेखांकित किया। राज्यपाल ने छात्रों को शिक्षा के अभिन्न अंग के रूप में शोध कार्य और अनुशासन के महत्व को समझाया।

आनंदीबेन पटेल ने कक्षाओं में छात्रों की उपस्थिति को लेकर चिंता जताते हुए परीक्षा में बैठने के लिए कम से कम 75 प्रतिशत उपस्थिति को अनिवार्य बताया। इसके साथ ही शिक्षकों की उपस्थिति और समय पालन पर भी टिप्पणी करते हुए राज्यपाल ने शिक्षकों की जिम्मेदारी और निगरानी की जरूरत का उल्लेख भी किया।

आज प्रदत्त कुल उपाधियों और पदकों में क्रमश: 58. 32 प्रतिशत तथा 73.52 प्रतिशत के साथ छात्राओं ने अपना दबदबा बनाया जबकि इसकी तुलना में छात्रों की हिस्सेदारी 41. 67 प्रतिशत तथा 26. 47 प्रतिशत रही।

विश्वविद्यालय परिसर के गांधी सभागार में आयोेजित इस समारोह में मुख्य अतिथि रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ-उत्पादन समन्वय और सेवा इंटरैक्शन) महानिदेशक डा़ॅ चंद्रिका कौशिक, विशिष्ट अतिथि उच्च शिक्षा राज्यमंत्री रजनी तिवारी और कुलपति प्रो. मुकेश पाण्डेय भी उपस्थिति रहे।

डॉ़ चंद्रिका कौशिक ने विश्वविद्यालय के नैक ए प्लस प्लस और एनआईआरएफ रैंकिंग सहित अन्य उपलब्धियों पर बधाई देते हुए कहा कि युवा पीढ़ी ही तकनीकी बदलाव और शोध की रीढ़ है। छात्र नयी तकनीकों पर काम करके देश को आत्मनिर्भर और दुनिया में अग्रणी बनाने में भूमिका निभाएं।

उच्च शिक्षा राज्यमंत्री रजनी तिवारी ने उपाधि और पदक प्राप्त करने वाले छात्र-छात्राओं,अभिभावकों और गुरूजनों को बधाई देते हुए कहा कि पदक एवं उपाधि हासिल करने में छात्रों के दबदबे से समाज में एक बेहद सकारात्मक बदलाव आ रहा है। उन्होंने कहा कि दीक्षांत समारोह जीवन का एक नया अध्याय शुरू करने का अवसर है। यह आपके परिश्रम, लक्ष्य और संकल्प से तय होगा कि आप समाज, प्रदेश् और देश को किस प्रकार आगे बढाते हैं1

इस अवसर पर विश्वविद्यालय द्वारा 50 वर्ष पूर्ण होने पर स्वर्णायनम पत्रिका, दीक्षांत पत्रिका, स्वर्णप्रज्ञानंम, चितरी, संचारिका, एक प्रगति आख्या स्टार्टअप विवरण का उन्नत भारत अभियान, टीवी पेशेंट कार्यक्रम, देवी अहिल्याबाई प्रतियोगिता पत्रिका के साथ ही छात्र ऋतिक पटेल द्वारा कुलाधिपति के वचनों की संकलित पत्रिका संकल्प का विमोचन किया गया।

कुलाधिपति द्वारा देवी अहिल्याबाई महिला छात्रावास, कारगुआ जी स्थित कृषि फार्म के दो कक्ष एवं रेस्ट रूम , अर्थशास्त्र एवं वित्त संस्थान के छह कक्षाें , शिक्षा संस्थान भवन के चार कक्षों, कंप्यूटर सेंटर भवन , उत्तर प्रदेश शासन द्वारा प्राप्त अनुदान से आच्छादित फार्मेसी संस्थान भवन के दो कक्षों एवं सेमिनार हॉल , उत्तर प्रदेश शासन द्वारा प्राप्त अनुदान से आच्छादित कृषि विज्ञान संस्थान भवन के छह कक्षों एवं कॉन्फ्रेंस हॉल एवं उत्तर प्रदेश शासन द्वारा अनुदान से आच्छादित आउटडोर स्टेडियम की आरसीसी वॉल का लोकार्पण किया गया।

आनंदीबेन पटेल ने उत्तर प्रदेश शासन द्वारा प्राप्त अनुदान से आच्छादित कर्मचारी आवासों के निर्माण कार्य , कृषि विज्ञान संस्थान भवन की कक्षाओं एवं प्रयोगशालाओं के उच्चीकरण कार्य , आवासीय परिसर की बाउंड्री वॉल की मरम्मत के कार्य, आउटडोर स्टेडियम में टेनिस कोर्ट एवं हाई मास्क लाइट के कार्य का शिलान्यास भी किया।

इसके अलावा उन्होंने महोबा एवं ललितपुर जिले की 10 आंगनबाड़ी प्रतिनिधियों को किट प्रदान की और उन्नत भारत अभियान के अंतर्गत कराई गई प्रतियोगिताओं के लिए छात्रों को प्रमाण पत्र दिये।इस अवसर पर विद्या परिषद के सदस्य, कार्य परिषद के सदस्य, कुलसचिव एवं परीक्षा नियंत्रक राजबहादुर वित्त अधिकारी प्रमोद कुमार, संकायों के अधिष्ठाता, संबंध महाविद्यालय के प्राचार्य, अधिकारी, शिक्षक, कर्मचारी एवं छात्र उपस्थित रहे।

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