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बाबरी मस्जिद विध्वंस संबंधी फैसले को लेकर सुरक्षा कड़ी,जानिए क्या है यह पूरा मामला

चेन्नई, बाबरी मस्जिद विध्वंस मामले में लखनऊ में केन्द्रीय जांच ब्यूरो (सीबाीआई) की विशेष अदालत की ओर से कल यानी की 30 सितंबर  को आने वाले फैसले के मद्देनजर तमिलनाडु में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है।

पुलिस सूत्रों ने बताया कि केन्द्र ने सीबीआई की विशेष अदालत के आने वाले फैसले को लेकर सभी राज्यों को कल अर्लट जारी किया था। अर्टल पर अमल करते हुए संवेदनशील और अतिसंवेदनशील क्षेत्रों में सुरक्षा पुख्ता कर दी गई है ताकि अदालत के फैसले के बाद अगर किसी तरह की अप्रिय घटना होती है तो उससे मुस्तैदी से निबटा जा सके।

केन्द्र ने अर्लट जारी करके कहा था कि फैसले से कानून-व्यवस्था की स्थिति पर प्रभाव पड़ सकता है क्योंकि दोनों पक्षों के शरारती तत्व फैसले का साम्प्रदायीकरण करने की कोशिश कर सकते हैं।
सीबीआई की विशेष अदालत बाबरी मस्जिद ध्वस्त के करीब 27 साल बाद आज इस बहुप्रतीक्षित मामले में फैसला सुनायेगी। सीबीआई के विशेष न्यायाधीश एस के यादव ने आदेश दिया था कि 30 सितंबर को फैसला आने के समय सभी आरोपी अदालत में मौजूद रहें।

इस मामले में पूर्व उप प्रधानमंत्री लाल कृष्ण आडवाणी, पूर्व राज्यपाल कल्याण सिंह, भाजपा नेता विनय कटियार, पूर्व केंद्रीय मंत्री उमा भारती,साध्वी ऋतंभरा, राम विलास वेदांती, साक्षी महाराज, विश्व हिंदू परिषद (वीएचपी) नेता और राम मंदिर न्यास के महासचिव चंपत राय, महंत नृत्य गोपाल दास के अलावा भाजपा और विश्व हिन्दू परिषद के कई दिग्गज आरोपी हैं।

सीबीआई ने इस मामले में 49 आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया था, जिनमें से 17 लोगों की मौत हो चुकी है। विशेष अदालत में 351 गवाह और लगभग 600 दस्तावेज पेश किये जा चुके हैं।