गैस रोग की कर देगा तुरंत छुट्टी ये आसन, जानें करने का क्या है सही तरीका
January 30, 2022
सहारनपुर, अनियमित दिनचर्या और खानपान के चलते आम हो चुकी गैस और घबराहट की समस्या से छुटकारा पाने में योग आपकी मदद कर सकता है। योग विशेषज्ञ गुलशन कुमार ने बताया कि पवनमुक्तासन पेट में गैस बनने की समस्या से छुटकारा दिलाने में कारगर साबित होता है। उन्होने कहा कि गैस के कारण वक्ष,सिर और पेट में दर्द हो सकता हैं।चिकित्सक इसे वायु के नाम का दर्द कहते है। जब गुदा द्वार से वायु निकल जाती है तो रोगी को राहत मिल जाती है। उन्होने कहा कि इस रोग में पेट में आहार सडने के कारण अधिक मात्रा में गैंस बनने लगती है। जिससे रोगी का पेट फूल जाता है। रोगी को इसके कारण घबराहट , बेचैनी होने लगती है। कभी कभी गैस के कारण श्वास लेने में असुविधा होने लगती है। कभी कभी मानसिक तनाव की अधिकता होने पर आमाशय मे भारीपन का अनुभव होता है।गुलशन कुमार ने बताया कि यौगिक विधियों से पेट की गैस का सफलता पूर्वक उपचार सम्भव है। पवनमुक्तासन के लिये पीडित व्यक्ति को समतल भूमि पर दरी या चटाई बिछाकर पीठ के बल लेट जाना चाहिये और बांयी टांग को घुटने से मोड कर पेट के पास लाना चाहिये। दोनों हाथों से बांये घुटने को पकड कर पेट दबाये और सिर ऊपर उठाते हुए अपनी नाक से घुटने को स्पर्श करें। कुछ सेकेंड रूके फिर घुटना छोड दे तथा सामान्य अवस्था में लेटे रह कर विश्राम करे।तत्पश्चात् दूसरे घुटने को मोड कर यही प्रक्रियासहारनपुर, अनियमित दिनचर्या और खानपान के चलते आम हो चुकी गैस और घबराहट की समस्या से छुटकारा पाने में योग आपकी मदद कर सकता है। योग विशेषज्ञ गुलशन कुमार ने बताया कि पवनमुक्तासन पेट में गैस बनने की समस्या से छुटकारा दिलाने में कारगर साबित होता है। उन्होने कहा कि गैस के कारण वक्ष,सिर और पेट में दर्द हो सकता हैं।चिकित्सक इसे वायु के नाम का दर्द कहते है। जब गुदा द्वार से वायु निकल जाती है तो रोगी को राहत मिल जाती है। उन्होने कहा कि इस रोग में पेट में आहार सडने के कारण अधिक मात्रा में गैंस बनने लगती है। जिससे रोगी का पेट फूल जाता है। रोगी को इसके कारण घबराहट , बेचैनी होने लगती है। कभी कभी गैस के कारण श्वास लेने में असुविधा होने लगती है। कभी कभी मानसिक तनाव की अधिकता होने पर आमाशय मे भारीपन का अनुभव होता है।गुलशन कुमार ने बताया कि यौगिक विधियों से पेट की गैस का सफलता पूर्वक उपचार सम्भव है। पवनमुक्तासन के लिये पीडित व्यक्ति को समतल भूमि पर दरी या चटाई बिछाकर पीठ के बल लेट जाना चाहिये और बांयी टांग को घुटने से मोड कर पेट के पास लाना चाहिये। दोनों हाथों से बांये घुटने को पकड कर पेट दबाये और सिर ऊपर उठाते हुए अपनी नाक से घुटने को स्पर्श करें। कुछ सेकेंड रूके फिर घुटना छोड दे तथा सामान्य अवस्था में लेटे रह कर विश्राम करे।तत्पश्चात् दूसरे घुटने को मोड कर यही प्रक्रिया दोहरायें। यह विधि प्रतिदिन तीन तीन बार अवश्य करे गैस मे लाभ मिलता है।उन्होने बताया कि गैस रोग से पीडित व्यक्ति को सुबह खाली पेट एक गिलास गुनगुने पानी में नीबू निचौड कर पीना चाहिये। इसके अलावा फलों के रस और मौसमी सब्जियों का सेवन करना चाहिये। बासी और तले भुने पदार्थो से परहेज रखने की जरूरत है।दोहरायें। यह विधि प्रतिदिन तीन तीन बार अवश्य करे गैस मे लाभ मिलता है।उन्होने बताया कि गैस रोग से पीडित व्यक्ति को सुबह खाली पेट एक गिलास गुनगुने पानी में नीबू निचौड कर पीना चाहिये। इसके अलावा फलों के रस और मौसमी सब्जियों का सेवन करना चाहिये। बासी और तले भुने पदार्थो से परहेज रखने की जरूरत है।