मिर्जापुर, उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर जिले में गंगा नदी में आयी बाढ़ से आम जीवन बुरी तरह प्रभावित हो गया है। नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं।
अधिकृत सूत्रों ने सोमवार को बताया कि समय सदर तहसील के 98 गांव तथा चुनार तहसील के 85 गांव बाढ की चपेट में है। 15 गांवो का सम्पर्क टूट गया है। बचाव कार्य के एनडीआरएफ के जवानों को लगाया गया है। पुलिस को अलर्ट मोड पर रखा गया है। जिला अधिकारी के अनुसार बचाव और राहत कार्य युद्धस्तर पर जारी है।
जिले में बीती रात गंगा नदी का जलस्तर खतरे के निशान को पार कर गया। अपर जिलाधिकारी ने बताया कि जिले में गंगा नदी 77,724 मीटर पर बह रही है। सदर तहसील के हरसिगपुर मुजेहरा कलां तीलठी सेमरा मल्सलेपुर भोगांव, बल्लीपरवा, मझिगवां, मठिया समेत 98 गांव बाढ़ की चपेट में है। इसी तरह चुनार तहसील के धनैता,समसपुर,पसियाही, गांगपुर,धन्नूपुर, सरैया, शिवपुर कादियां, सहित 85 गांव भी बाढ़ की विभीषिका झेल रहे हैं।
श्री शुक्ल ने बताया कि बाढ़ प्रभावित गांवों में बचाव और राहत कार्य के लिए 42 नाव और नौ मोटर बोट लगाया गया है। तहसील कर्मचारियों के साथ खाद्य रसद सहित अन्य विभागों के कर्मचारियों लगाया गया है। दो दर्जन से अधिक राहत केन्द्र बनाए गए हैं। गांव के लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है।साथ ही साथ जानवरों को भी पशुओं के लिए बने बाड़े में रखा जा रहा है।
अपर जिलाधिकारी के अनुसार बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत पैकेट बांटे जा रहे हैं। अब तक छह हजार परिवारों को खाने पीने का सामान दिया जा चुका है। जिलाधिकारी प्रवीण कुमार लक्षकार ने बताया कि जिले में सौ से अधिक गांवों में केवल फसलों को भारी नुकसान हुआ है। फसलों की क्षति के आंकलन के लिए तहसील के लेखपालों को लगाया गया है।
उन्होंने बताया कि 15 गांवो में सम्पर्क टूट गया है। अधिक प्रभावित गांवों से लोगों को निकाल कर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा चुका है। जिलाधिकारी ने बताया कि पुलिस को अलर्ट कर दिया गया है। कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है।बीडीओ को इसका दायित्व सौंपा गया है। उन्होंने कहा कि सार्वजनिक रूप से लोगों द्वारा सहयोग किया जा रहा है। यह उत्साह वर्धक है। स्थिति नियंत्रण में है।