रामपुर, समाजवादी पार्टी (सपा) नेता मोहम्मद आजम खान को डूंगरपुर मामले में दस साल की सजा के फैसले से नाखुशी जताते हुये उनकी पत्नी तंजीन फातिमा ने कहा कि चंद झूठे गवाहों की बिना पर हुई सजा के खिलाफ उनका परिवार आखिरी सांस तक लड़ेंगा।
डा तजीन फातिमा ने शुक्रवार को कहा कि यह सजा नाइंसाफी की चरम सीमा है। चंद झूठे गवाहों की बिना पर आजम खान को सजा हुई है। इस नाइंसाफी की लड़ाई को वह आखिरी सांस तक लड़ेंगी।
रामपुर जिला कारागार से हाल ही में रिहा हुई पूर्व कैबिनेट मंत्री आजम खान की पत्नी डा तज़ीन फातिमा ने पत्रकारों से कहा कि आजम को मिली सजा नाइंसाफी की चरम सीमा है। एक अधिकारी के कहने पर सीधे साधे लोगों से सादे कागज पर साइन लेकर आधे आधे घंटे के अंतराल पर एफआईआर दर्ज की गईं। अनपढ़ और गांव के लोगों से साइन कराए गए। चंद झूठे गवाहों के कहने पर आजम खान का नाम शामिल कर जानबूझकर उन्हें सजा कर दी गई है। इस नाइंसाफी के खिलाफ हम आखिरी सांस तक लड़ेंगे।
पत्रकारों से अपने आवास पर बात करते हुए डा तजीन फातिमा ने कहा कि जन्म प्रमाण पत्र में सब कुछ विधिवत है और वक्त आने सारे सुबूत दिए जायेंगे।