अखिलेश यादव ने रविवार को यहां जारी बयान में कहा कि पहले केन्द्र की भाजपा सरकार ने कई सरकारी संस्थाओं को निजी हाथों में सौपा। अब उसी रास्ते पर चलते हुए उत्तर प्रदेश की भाजपा सरकार भी निजीकरण को बढ़ावा दे रही है। भाजपा सरकारें पूंजीपतियों के लिए काम करती है। उत्तर प्रदेश की भाजपा सरकार पूर्वांचल और दक्षिणांचल विद्युत निगम को निजी हाथों में देने पर अमादा है। सरकार निजीकरण की आड़ में अरबों की सम्पत्तियाँ पूंजीपतियों को देना चाहती है।
अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा सरकार संविधान और आरक्षण विरोधी है। भाजपा पीडीए को नौकरियों और आरक्षण से दूर करने के लिए हर दिन नए-नए षड्यंत्र कर रही है। भाजपा की नीति पीडीए विरोधी है। वह पीडीए से नफरत करती है। निजीकरण से सरकारी नौकरियां खत्म हो जाती है। निजी क्षेत्र मनमानी करके महंगाई बढ़ाते है जिसका असर आम जनता पर पड़ता है। इसके साथ ही सरकारी संस्थाओं के निजी क्षेत्र में चले जाने से पीडीए को बाबा साहब डॉ0 भीमराव अम्बेडकर द्वारा संविधान में दिए गए आरक्षण का अवसर नहीं मिलता है।
सपा नेता ने कहा कि आज भाजपा सरकार की इस नीति के खिलाफ कर्मचारी और आम जनता सभी है। लेकिन अपने चंदे, मुनाफा और लाभ के लिए भाजपा सब कुछ अपने करीबी पूंजीपतियों के हाथों में सौंपने को तैयार है। देश और प्रदेश की जनता भाजपा के षड्यंत्र को जान चुकी है। वर्ष 2027 के विधानसभा चुनाव में जनता भाजपा की जन विरोधी सरकार को हटाने के लिए संकल्पित है।