लखनऊ, कानून व्यवस्था को लेकर विपक्ष के लगातार हमले का सामना कर रहे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि अपराध और अपराधियों से सख्ती और निर्ममता से निपटा जाएगा तथा माफिया जिस भाषा में समझेंगे, उन्हें उसी भाषा में समझाया जाएगा। योगी ने शुक्रवार को विधानसभा में राज्यपाल राम नाईक के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव की चर्चा के जवाब में कहा, मैं मानता हूं कि घटनाएं हो रही हैं..लेकिन जब मरना होता है तो श्वास तेज आती है।
हम तय कर चुके हैं कि अपराध और अपराधियों तथा उनके संरक्षणदाताओं के लिए प्रदेश में कोई जगह नहीं है। हम ऐसे तत्वों से सख्ती से और निर्ममता से निपटेंगे। गरीब, निरीह और व्यापारियों का उत्पीड़न करने वालों से सख्ती से निपटा जाएगा। मुख्यमंत्री ने अपराधियों और माफियाओं को लेकर कहा, आदतें खराब हो गयी हैं। आसानी से छूटने वाली नहीं हैं। लेकिन मैं विश्वास दिलाता हूं कि प्रदेश के सर्वांगीण विकास के लिए और भयमुक्त समाज के लिए सभी कदम उठाये जाएंगे।
उन्होंने पूर्व की सपा-बसपा सरकारों को निशाने पर लेते हुए कहा, उत्तर प्रदेश की राजनीति का अपराधीकरण किया गया। अपराध का राजनीतिकरण किया गया। किसने किया प्रशासन का जातिकरण ? किसने किया ? ये अभिशाप है और सच्चाई भी है कि अपराधियों का व्यावसायीकरण और तबादलों का औद्योगीकरण किया गया। योगी ने कहा, माफिया की दुर्गति कर देंगे। वे जिस भाषा में समझेंगे, उसी भाषा में समझाएंगे। प्रशासन को खुली छूट दी गयी है और सबकी जवाबदेही तय की गयी है।
राज्यपाल के अभिभाषण के दौरान सपा सदस्यों द्वारा सीटी बजाकर और कागज के गोले राज्यपाल की ओर उछालकर व्यवधान डालने पर योगी ने कहा, मैंने जीवन में पहली बार सदन में किसी को सीटी बजाते देखा। आश्चर्यचकित था क्योंकि दो प्रकार के लोग सीटी बजाते हैं, ऐसा सुना था। एक वो जो यातायात पुलिस बजाती है और दूसरों के लिए हमने एंटी रोमियो स्क्वायड बनाया है। सदन में सीटी की गूंज सुनकर अजीब सा लगा। उन्होंने कहा कि हम प्रदेश की समस्याओं को चुनौती के रूप में ले रहे हैं।
सरकार किसी जाति, मत, पंथ या मजहब का प्रतिनिधित्व नहीं करती बल्कि वह प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के उद्घोष सबका साथ सबका विकास को व्यक्त करती दिखेगी। योगी ने सपा, बसपा और कांग्रेस पर तंज कसते हुए कहा, जिन्होंने पांच साल या दस साल शासन किया, वे हमारा दो महीने का लेखाजोखा पूछते हैं। बात बात पर सदन से वाकआउट करते हैं। उन्होंने कहा कि सपा और बसपा के शासन में किसान बदहाल हुआ है।
किसानों ने आत्महत्याएं की हैं। जिस प्रदेश में गंगा, यमुना, सरयू, राप्ती और गंडक जैसी नदियां हों और जिस प्रदेश पर प्रकृति और परमात्मा की कृपा हो। जहां की भूमि उर्वरा हो, वहां भी किसान आत्महत्या करे तो निश्चित तौर पर पूर्ववर्ती सरकारों की नीयत, नीतियों और योजनाओं में खोट था। मुख्यमंत्री ने किसानों की कर्ज माफी, सरकारी एजेंसियों द्वारा गेहूं खरीद, गन्ना मूल्य भुगतान, आलू किसानों के लिए पैकेज, वीआईपी संस्कृति खत्म करने और लालबत्ती हटाने जैसे कदमों का उल्लेख किया। योगी ने कहा कि भाजपा सरकार ने चुनिन्दा जिलों को ही बिजली देने की प्रथा समाप्त की। हमें विरासत में अत्यंत जर्जर व्यवस्था मिली, जिसे संभालने का प्रयास कर रहे हैं। गरीबी रेखा के नीचे रहने वालों को मुफ्त बिजली कनेक्शन देंगे।