मोदी सरकार के 4 साल पर कांग्रेस 26 मई को मनाएगी ‘विश्वासघात दिवस’ …
May 23, 2018
नयी दिल्ली, कांग्रेस ने आज कहा कि वह नरेंद्र मोदी सरकार के चार साल पूरा होने के मौके पर 26 मई को ‘विश्वासघात दिवस’ मनाएगी और जनता के समक्ष इस सरकार का ‘पर्दाफाश’ करेगी।
पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा, ‘ कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने वरिष्ठ नेताओं के साथ विचार-विमर्श करके फैसला किया है कि 26 मई दिवस को पार्टी विश्वासघात दिवस मनाएगी। मोदी सरकार के विश्वासघात का जनता के समक्ष पर्दाफाश किया जाएगा। उन्होंने कहा कि 26 मई को सभी राज्यों की राजधानियों और जिला स्तरों पर धरने और प्रदर्शन आयोजित किये जायेंगे। सुरजेवाला ने आरोप लगाया कि यह सरकार भ्रष्टाचार, कालेधन, महंगाई, आतंकवाद और विदेश नीति को लेकर पूरी तरह विफल रही है।
कांग्रेस महासचिव अशोक गहलोत ने ‘विश्वासघात’ शीर्षक वाला एक पोस्टर जारी किया।
गहलोत ने कहा, ‘मीडिया और आम लोग समझ गए हैं कि उनके साथ विश्वासघात हुआ। चार साल पहले खूब वादे किए गए थे और जनता ने भी खूब विश्वास जताया। लेकिन चार साल में इस कदर विश्वासघात हुआ कि उसकी कल्पना नहीं की जा सकती। गहलोत ने कहा, ‘ ये लोग चाल, चरित्र और चेहरा अलग होने का दावा करते थे लेकिन इन्होंने अपने ही सिद्धांतों की धज्जियां उड़ा दीं।उन्होंने कहा, ‘ये लोग हर साल जश्न मनाते हैं और जनता के पैसे उड़ाते हैं। खूब विज्ञापन दिए जा रहे हैं। कांग्रेस ने सरकार में रहते हुए यह कभी नहीं किया।’
कांग्रेस महासचिव ने दावा किया, ‘देश में अविश्वास, भय और हिंसा का माहौल है। हर वर्ग परेशान है। किसान परेशान है। युवा परेशान है। व्यापारी वर्ग परेशान है। सबके साथ विश्वासघात हुआ है। उन्होंने कहा, ‘ ये लोग विपक्ष में रहते हुए मंहगाई को लेकर तमाशा करते थे। आज देखिए कि पेट्रोल और डीजल की कीमत कहां पहुंच गई। आम लोगों की जेब पर डाका डाला जा रहा है। गहलोत ने कहा कि राहुल गांधी ने पेट्रोल और डीजल की कीमत को जीएसटी के दायरे में लाने की मांग की, लेकिन यह सरकार तैयार नहीं हुई।
गहलोत ने आरोप लगाया, ‘ये पाखंडी, फासीवादी लोग हैं। इनका लोकतंत्र में विश्वास नहीं है। दलितों पर अत्याचार बढ़ गए हैं। महिलाओं और बच्चियों पर यौन हिंसा के मामले बढ़ रहे हैं। उन्होंने सवाल किया कि चुनाव में इतने पैसे खर्च किये जा रहे हैं। ये पैसे कहां आ रहे हैं? गहलोत ने कहा कि अमित शाह ने कल कहा कि विधायक होटल में नहीं होते तो उनकी सरकार बनती। सवाल यह है कि आप कैसे सरकार बनाते? इसका मतलब ये लोग खरीद-फरोख्त करते।
गहलोत ने आरोप लगाया, ‘ पीयूष गोयल ने अपने 10 रुपये के शेयर 10 हजार रुपये बेचे औए वसुंधरा राजे के बेटे ने 10 रुपये के शेयर ललित मोदी को करीब एक लाख रुपये बेच दिए। इन मामलों की जांच क्यों नहीं हुई। आप सोच लीजिए कि ये किस तरह के लोग हैं।’ उन्होंने कहा कि अगला चुनाव कांग्रेस समान विचारधारा वाली पार्टियों के साथ मिलकर लड़ेगी और देश का भट्टा बैठा देने वाली इस फासीवादी सरकार को सत्ता से बाहर करेगी। गहलोत ने कहा कि कर्नाटक के घटनाक्रम ने सिद्ध कर दिया कि तमाम दबाव के बावजूद मीडिया काफी हद तक अपनी भूमिका निभा रहा है।
सीमा पर पाकिस्तान की तरफ से गोलीबारी से जुड़े एक सवाल पर गहलोत ने दावा किया कि जितने सैनिक इस सरकार में शहीद हुए उतने कांग्रेस के 10 साल के शासन में नहीं हुए। प्रधानमंत्री के विदेश दौरों को लेकर सुरजेवाला ने कहा कि उनकी यात्राएं ‘बिना एजेंडे’ के होती हैं और जनता को यह नहीं बताया जाता कि उन दौरों का नतीजा क्या रहा। उन्होंने कहा, ‘रूस हमारा पुराना मित्र है लेकिन इस सरकार में रूस ने पाकिस्तान को हथियार बेचने का समझौता किया। राष्ट्रीय सुरक्षा को लेकर प्रधानमंत्री विफल रहे हैं।’
नयी दिल्ली, कांग्रेस ने आज कहा कि वह नरेंद्र मोदी सरकार के चार साल पूरा होने के मौके पर 26 मई को ‘विश्वासघात दिवस’ मनाएगी और जनता के समक्ष इस सरकार का ‘पर्दाफाश’ करेगी।
पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा, ‘ कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने वरिष्ठ नेताओं के साथ विचार-विमर्श करके फैसला किया है कि 26 मई दिवस को पार्टी विश्वासघात दिवस मनाएगी। मोदी सरकार के विश्वासघात का जनता के समक्ष पर्दाफाश किया जाएगा। उन्होंने कहा कि 26 मई को सभी राज्यों की राजधानियों और जिला स्तरों पर धरने और प्रदर्शन आयोजित किये जायेंगे। सुरजेवाला ने आरोप लगाया कि यह सरकार भ्रष्टाचार, कालेधन, महंगाई, आतंकवाद और विदेश नीति को लेकर पूरी तरह विफल रही है।
कांग्रेस महासचिव अशोक गहलोत ने ‘विश्वासघात’ शीर्षक वाला एक पोस्टर जारी किया।
गहलोत ने कहा, ‘मीडिया और आम लोग समझ गए हैं कि उनके साथ विश्वासघात हुआ। चार साल पहले खूब वादे किए गए थे और जनता ने भी खूब विश्वास जताया। लेकिन चार साल में इस कदर विश्वासघात हुआ कि उसकी कल्पना नहीं की जा सकती। गहलोत ने कहा, ‘ ये लोग चाल, चरित्र और चेहरा अलग होने का दावा करते थे लेकिन इन्होंने अपने ही सिद्धांतों की धज्जियां उड़ा दीं।उन्होंने कहा, ‘ये लोग हर साल जश्न मनाते हैं और जनता के पैसे उड़ाते हैं। खूब विज्ञापन दिए जा रहे हैं। कांग्रेस ने सरकार में रहते हुए यह कभी नहीं किया।’
कांग्रेस महासचिव ने दावा किया, ‘देश में अविश्वास, भय और हिंसा का माहौल है। हर वर्ग परेशान है। किसान परेशान है। युवा परेशान है। व्यापारी वर्ग परेशान है। सबके साथ विश्वासघात हुआ है। उन्होंने कहा, ‘ ये लोग विपक्ष में रहते हुए मंहगाई को लेकर तमाशा करते थे। आज देखिए कि पेट्रोल और डीजल की कीमत कहां पहुंच गई। आम लोगों की जेब पर डाका डाला जा रहा है। गहलोत ने कहा कि राहुल गांधी ने पेट्रोल और डीजल की कीमत को जीएसटी के दायरे में लाने की मांग की, लेकिन यह सरकार तैयार नहीं हुई।
गहलोत ने आरोप लगाया, ‘ये पाखंडी, फासीवादी लोग हैं। इनका लोकतंत्र में विश्वास नहीं है। दलितों पर अत्याचार बढ़ गए हैं। महिलाओं और बच्चियों पर यौन हिंसा के मामले बढ़ रहे हैं। उन्होंने सवाल किया कि चुनाव में इतने पैसे खर्च किये जा रहे हैं। ये पैसे कहां आ रहे हैं? गहलोत ने कहा कि अमित शाह ने कल कहा कि विधायक होटल में नहीं होते तो उनकी सरकार बनती। सवाल यह है कि आप कैसे सरकार बनाते? इसका मतलब ये लोग खरीद-फरोख्त करते।
गहलोत ने आरोप लगाया, ‘ पीयूष गोयल ने अपने 10 रुपये के शेयर 10 हजार रुपये बेचे औए वसुंधरा राजे के बेटे ने 10 रुपये के शेयर ललित मोदी को करीब एक लाख रुपये बेच दिए। इन मामलों की जांच क्यों नहीं हुई। आप सोच लीजिए कि ये किस तरह के लोग हैं।’ उन्होंने कहा कि अगला चुनाव कांग्रेस समान विचारधारा वाली पार्टियों के साथ मिलकर लड़ेगी और देश का भट्टा बैठा देने वाली इस फासीवादी सरकार को सत्ता से बाहर करेगी। गहलोत ने कहा कि कर्नाटक के घटनाक्रम ने सिद्ध कर दिया कि तमाम दबाव के बावजूद मीडिया काफी हद तक अपनी भूमिका निभा रहा है।
सीमा पर पाकिस्तान की तरफ से गोलीबारी से जुड़े एक सवाल पर गहलोत ने दावा किया कि जितने सैनिक इस सरकार में शहीद हुए उतने कांग्रेस के 10 साल के शासन में नहीं हुए। प्रधानमंत्री के विदेश दौरों को लेकर सुरजेवाला ने कहा कि उनकी यात्राएं ‘बिना एजेंडे’ के होती हैं और जनता को यह नहीं बताया जाता कि उन दौरों का नतीजा क्या रहा। उन्होंने कहा, ‘रूस हमारा पुराना मित्र है लेकिन इस सरकार में रूस ने पाकिस्तान को हथियार बेचने का समझौता किया। राष्ट्रीय सुरक्षा को लेकर प्रधानमंत्री विफल रहे हैं।’