जन्म दिन पर विशेष- इतनी ताकत के बावजूद लालू प्रसाद यादव को खाकी निक्कर नहीं पहना पाए
June 11, 2018
नई दिल्ली, राजद के राष्ट्रीय अध्यक्ष व बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव का आज जन्मदिन है। लालू प्रसाद यादव के फालोअर देश ही नही विदेशों मे भी हैं। उनके फालोअर उनके बारे मे क्या सोंचतें हैं, इसकी एक झलक आपको लालू प्रसाद यादव के एक प्रशंसक प्रशांत कनौजिया की यह पोस्ट पढ़कर पता लग जायेगी-
” आज उस व्यक्ति का जन्मदिन है जो भारत का एक मात्र सेक्युलर नेता है. बाकी सभी ने अपनी धोती और पायजामे के नीचे खाकी निक्कर पहना होगा, लेकिन इतनी ताकत के बावजूद लालू को खाकी निक्कर नहीं पहना पाए. सामाजिक न्याय का पुरोधा है और सर्वहारा की एक मात्र उम्मीद है.
बिहार में जातिवाद के ख़िलाफ़ झंडा बुलंद करने वाला किसानों, मजदूरों और बहुजनों का नेता, जिसने सत्ता के लिए अपने उसूलों से समझौता नहीं किया. अपने कार्यकाल में सबसे ज्यादा यूनिवर्सिटी देना और साक्षरता को दोगुना करने वाला अकेला नेता है. जिस समाज को सवर्णों के घर बैठने के लिए दरी नहीं मिलती थी, उस समाज को सत्ता के शीर्ष पर ले जाने वाला नेता है लालू. छात्र राजनीति को बिहार में लोकतान्त्रिक बनाने में सबसे बड़ा योगदान लालू का है.
मीडिया और मनुवादी लालू से बड़ी नफरत करते हैं. वो बर्दाश्त नहीं कर पाए कि जिन्होंने समाज के शीर्ष पर रहने का अधिकार अपने धार्मिक किताबों में लिखा लाए थे, उसे लिपि को लालू ने उड़ा दिया. बाकी सभी नेताओं की तरह चाहते तो मोदी और शाह के सामने घुटने टेक देते और बहुत बड़े नेता और आदर्श पुरुष बन जाते, लेकिन समझौता न करके जेल में बैठे हैं. मेरी जो भी राजनीतिक समझ और सामाजिक न्याय को लेकर आग है, वो सिर्फ लालू की वजह से है. मेरे पिता ने मुझे जन्म दिया और लालू ने मुझे राजनीतिक और सामाजिक न्याय का फार्मूला समझाया. “