लखनऊ, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि पूर्वान्चल के विकास का ठोस माॅडल तैयार करते हुए उसमें कृषि,पर्यटन, शिक्षा, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य, निर्यात आदि पर पूरी तरह से फोकस किया जाए। याेगी ने ने यह विचार मंगवार देर शाम यहां लोक भवन में आयोजित पूर्वान्चल विकास बोर्ड की बैठक की अध्यक्षता करते हुए व्यक्त किए।
उन्होंने कहा कि पूर्वान्चल विकास के इस माॅडल में रोजगार के प्रचुर अवसर प्रदान करने की भी क्षमता होनी चाहिए, तभी यह अपने उद्देश्य को पूरा कर सकेगा। उन्होंने कहा कि पूर्वान्चल में विकास और रोजगार की अपार सम्भावनाएं मौजूद हैं। इन सम्भावनाओं के दोहन के लिए योजनाबद्ध तरीके से काम करना होगा। राज्य सरकार पूर्वान्चल के विकास के लिए कटिबद्ध है। उन्होंने कहा कि इस बोर्ड का गठन परामर्शी संस्था के रूप में किया गया है। इसका दायित्व पूर्वान्चल के विकास के लिए सकारात्मक सुझाव देना होगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार द्वारा क्रियान्वित की जा रही विभिन्न विकास योजनाओं का आकलन करते हुए उनके बेहतर क्रियान्वयन में बोर्ड अपने सुझाव दे सकता है।
मुख्यमंत्री ने उच्चाधिकारियों को बोर्ड के उपाध्यक्षों तथा सदस्यों को प्रोटोकाॅल के तहत सभी अनुमन्य सुविधाएं तीन दिन के अन्दर उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। उन्होंने नियोजन व वित्त विभाग को बोर्ड के प्रति प्राॅपर प्रोटोकाॅल लागू करने के निर्देश दिए। इस अवसर पर उन्होंने नियोजन विभाग के तहत क्षेत्रीय नियोजन प्रभाग द्वारा दिए गए प्रस्तुतिकरण का भी अवलोकन किया।
पूर्वान्चल के जिलों में शिक्षा के स्तर में सुधार के मद्देनजर मुख्यमंत्री ने कहा कि पूर्वान्चल विकास बोर्ड के उपाध्यक्षों तथा समस्त सदस्यों को पूर्वान्चल के शिक्षाविदों के साथ बैठकर विचार-विमर्श करना चाहिए और इसके बाद एक कार्य योजना प्रस्तुत करनी चाहिए, ताकि इस क्षेत्र में शिक्षा का स्तर सुधारा जा सके। उन्होंने बोर्ड के उपाध्यक्षों तथा सदस्यों से प्राथमिक विद्यालयों के भवनों में कायाकल्प योजना के तहत कराए गए विभिन्न विकास कार्यों का अध्ययन करने को कहा और जहां सुधार की सम्भावना हो, वहां अपने सुझाव देने के लिए भी कहा।