नयी दिल्ली , केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने कथित तौर पर एंटी वायरस के नाम पर लोगों के कंप्यूटर में हानिकारक सॉफ्टवेयर (मैलवेयर) डालने वाले गिरोह का पर्दाफाश कर छह निजी कंपनियों समेत अन्य के खिलाफ गुरुवार को मामला दर्ज किया है।
सीबीआई ने इस मामले में जयपुर, दिल्ली, नोएडा, गुरुग्राम, फरीदाबाद और मैनपुरी में कंपनियों के 10 ठिकानों पर तलाशी ली। एजेंसी ने सॉफ्टविल इंफोटेक प्राइवेट लिमिटेड (नई दिल्ली), इन्नोवाना थिंकलैब्स लिमिटेड (जयपुर), बेनोवेलेंट टेक्नोलॉजीज प्राइवेट लिमिटेड(नोएडा), सिस्टवीक सॉफ्टवेयर प्राइवेट लिमिटेड( जयपुर), सबुरी टीएलसी वर्ल्डवाइड सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड( नई दिल्ली), सबुरी ग्लोबल सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड(गुरुग्राम) तथा अन्य लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है।
सीबीआई के एक अधिकारी ने बताया कि यह कंपनियां लोगों के कंप्यूटर में ‘पॉप-अप’ संदेश के रूप में सुरक्षा संबंधी फर्जी चेतावनी भेजती थीं जिसके बाद उपभोक्ता इनके झांसे में आकर अपने कंप्यूटर में एंटी वायरस सॉफ्टवेयर डाल लेता था जो वास्तव में कंप्यूटर के लिए हानिकारक होते थे। पीड़ित लोगों को पीयूपी सक्रिय करने के लिए भुगतान करने या सहायता के लिए एक नंबर पर कॉल करने को कहा जाता था। अपने कंप्यूटर को सुचारु रूप से चलाने के चक्कर में पीड़ित इनके जाल में फंस जाते थे। कॉल सेंटर के रूप में कंप्यूटर ठीक करने के बहाने पीड़ितों को ऑनलाइन माध्यम से भुगतान करने को कहा जाता था।