सहारनपुर, कोरोना के खतरे के बीच उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा डिग्री कालेजों को खोलने का फैसला छात्र-छात्राओं को रास नहीं आया। कोरोना के भय के बीच 15 से 20 फीसद तक छात्र कालेजों में पहुंचे। छात्रों की तुलना में छात्राओं की संख्या ज्यादा थी।
सहारनपुर के जैन डिग्री कालेज के प्राचार्य डा. वकुल बंसल ने आज बताया कि कालेज में कल पहले दिन 15 फीसद छात्र-छात्राएं ही कालेज पहुंचे। कक्षाओं में छात्रों को सामाजिक दूरी के साथ बैठाया गया। उन्हें थर्मल स्क्रीनिंग और हाथों की सफाई के बाद ही कालेज में प्रवेश दिया गया।
मुन्ना लाल गल्र्स डिग्री कालेज की प्राचार्या डा. अमिता अग्रवाल ने कहा कि कालेज में कोविड-19 के दिशानिर्देशों का पूरी तरह से पालन किया गया। उनके यहां छात्राओं की उपस्थिति 60 फीसद तक रही। नगर के 2500 से अधिक छात्र-छात्राओं वाले महाराज डिग्री कालेज के प्राचार्य डा. अरूण कुमार गुप्ता ने बताया कि उनके कालेज में पहली बार छात्र-छात्राओं के लिए निर्धारित पौशाक तय की गई। उनका कहना था कि कालेज में गैर छात्र भी कालेज में घुस आते थे और माहौल बिगाड़ते थे।
जिले के देवबंद,नांगल,नानौता,बेहट,रामपुर मनिहारान,गंगौह,नकुड़,रणखंडी,भायला और सिमलाना आदि स्थानों पर सभी डिग्री कालेजों में शिक्षण का कार्य प्रारंभ हो गया है लेकिन उपस्थिति बेहद कम दर्ज की गई। अनेक छात्र-छात्राओं के चेहरे आठ माह कालेज पहुंचने पर खिले हुए थे। उन्होंने कहा कि कालेज खुलने पर उन्हें काफी अच्छा लग रहा है। अब पढ़ाई बेहतर होगी। जिले में आठ माह बाद खुले डिग्री कालेजों के कारण शहर में रौनक नजर आई।