बीजेपी के हाथ से जा सकता है एक और राज्य, गोवा में कांग्रेस सरकार बनाने की कोशिश में
September 18, 2018
पणजी , गोवा के मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर के लंबे समय से अस्वस्थ होने केे मद्देनजर राज्य में नयी सरकार को लेकर हलचल तेज हो गई है। विधानसभा चुनाव में सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरने के बावजूद कांग्रेस सरकार बनाने से चूक गयी थी लेकिन अब वह एक बार फिर राज्य में सरकार बनाने की कोशिश में लग गयी है।
सीएम मनोहर पर्रिकर पिछले सात महीने से अग्नाशय की बीमारी से पीड़ित हैं। अमेरिका से इलाज कराने के बाद लौटे से पर्रिकर ने कुछ दिन कामकाज किया लेकिन तबियत फिर खराब होने पर शनिवार को उन्हें दिल्ली में अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान में भर्ती कराया गया। गोवा की 40 सदस्यीय विधानसभा में भाजपा के 14 विधायक हैं। भाजपा ने गोमांतक पार्टी के तीन, गोवा फारवर्ड के तीन और तीन निर्दलीय विधायकों के समर्थन से सरकार बनाई है।
विधानसभा चुनाव में किसी भी पार्टी को बहुमत नहीं मिला था। कांग्रेस सबसे बड़े दल के रुप में उभरी थी। क्षेत्रीय दलों ने भाजपा को इस शर्त पर समर्थन दिया था कि श्री पर्रिकर को मुख्यमंत्री बनाया जायेगा। उस समय श्री पर्रिकर केंद्र में रक्षा मंत्री की जिम्मेदारी संभाल रहे थे। उन्होंने रक्षा मंत्री पद से इस्तीफा दिया था और गोवा के मुख्यमंत्री का पद संभाला।
कांग्रेस के विधायक सोमवार को राज्यपाल मृदुला सिन्हा से मुलाकात करने के लिए पहुंचे किंतु भेंट नहीं हो सकी। कांग्रेस नेताआें ने राजभवन में एक पत्र दिया जिसमें पार्टी ने राज्यपाल से सरकार बनाने के लिए मौका देने की मांग की है। राज्य में 16 विधायकों के साथ सबसे बड़ी पार्टी कांग्रेस के विधायक दल के नेता चंद्रकांत कावलेकर ने संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि हमनें राज्यपाल को दो ज्ञापन सौंपे हैं।
एक ज्ञापन में कहा गया कि विधानसभा में कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी है लेकिन हमें सरकार बनाने का मौका नहीं दिया गया । उसका परिणाम सामने हैं कि राज्य में सरकार किस तरीके से चल रही है। सरकार होते हुए भी नहीं के बराबर है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के पास सरकार बनाने के लिए विधायकों का पर्याप्त है इसलिए हमने सरकार बनाने दावा किया है। राज्यपाल यहां रविवार को आयेंगी तब हम उनसे सरकार बनाने के लिए मौका देने का आग्रह करेंगे।
चंद्रकांत कावलेकर ने कहा कि पार्टी के 16 में से 14 विधायक राजभवन आये थे लेकन राज्यपाल से मुलाकात संभव नहीं हो सकी है । उन्होंने कहा कि दूसरे ज्ञापन में राज्यपाल से आग्रह किया गया है कि जनता ने हमें पांच साल के लिए चुना है और 18 माह के अंदर ही फिर से चुनाव कराने की स्थिति उत्पन्न नहीं होनी चाहिए। मौजूदा सरकार कार्य करने में सक्षम नहीं है इसलिए हमें सरकार गठन का मौका दिया जाये।