नई दिल्ली, जेएनयू छात्रसंघ चुनाव मे 50 बैलट गिने जाने के बाद रुझान सामने आ गए हैं.
सभी मुख्य पदों के लिए लेफ्ट फ्रंट के उमीदवार आगे हैं.
जेएनयूएसयू प्रेसिडेंट एन साई बालाजी ने बताया, ‘काउंटिंग शुरू होगी और बढ़त के बारे में भी जानकारी दी जाएगी.
लेकिन सबसे ज्यादा बढ़त लेने वाले आखिरी तीन कैंडिडेट के वोट नहीं बताए जाएंगे.’
ऐसा इसलिए किया जा रहा है ताकि दिल्ली हाईकोर्ट के ऑर्डर का पालन किया जा सके. कोर्ट ने 17 सितंबर तक नतीजों पर रोक लगाई है.
दिल्ली हाईकोर्ट ने जेएनयू छात्र संघ के चुनाव के रिजल्ट जारी करने पर रोक लगा दी है.
वहीं इस मामले की सुनवाई 17 सितंबर तक के लिए टाल दी गई है.
दिल्ली हाईकोर्ट में दो याचिकाएं दायर की गई थीं.
एक याचिका में कहा गया था कि छात्रसंघ चुनावों में लिंगदोह कमेटी की सिफारिशों का उल्लंघन किया गया है.
वहीं दूसरी याचिका लगाने वाले याचिकाकर्ता की तरफ से कहा गया है कि उसने 2 बार काउंसलर का चुनाव लड़ने के लिए नामांकन दाखिल किया, लेकिन दोनों बार बिना उसको बताए गलत तरीके से उसका नामांकन खारिज कर दिया गया.
जेएनयू इलेक्शन कमेटी के अध्यक्ष शशांक पटेल के मुताबिक, ‘6 सितंबर को 11 बजकर 55 मिनट पर काउंटिंग प्रोसेस शुरू हो गई थी. लेकिन छात्र संगठनों के आपसी तनाव के चलते इसे रोक दिया गया था.
इतने घंटे बीत जाने के बावजूद भी छात्र एकमत नहीं हो पाए.
इसलिए इलेक्शन कमेटी ने तय किया है कि काउंटिंग प्रोसेस आगे बढ़ाई जाएगी.
इनमें रूझानों को भी बताया जाएगा पर अंतिम नतीजों की घोषणा फिलहाल नहीं होगी.’
लेफ्ट पैनल वाले निर्वतमान अध्यक्ष ने छात्रों से जेएनयू इलेक्शन कमीशन की मदद करने की अपील की है.
उन्होंने कहा,‘मतगणना के लिए तय समय से 9 घंटे ज्यादा बीत चुके हैं.
हम छात्रों से अपील करते हैं कि वे सुबह इकट्ठे होकर इलेक्शन कमीशन को सपोर्ट करें और हमारे बैलेट बॉक्स को सुरक्षित करें.
हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि पिछले साल जेएनयू एडमिन के साथ मिलकर एबीवीपी ने जेएनयू ईसी और सिक्योरिटी के साथ मारपीट कर 17 घंटे के लिए बूथ कैप्चर कर लिया था.
एक बार फिर हमें पिछली बार की तरह छात्रसंघ को बचाने के लिए एक होने की जरूरत है.’