प्रयागराज, इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग की लैब तकनीशियन भर्ती में खाली बचे पदों को भरने पर रोक लगा दी है।
न्यायालय ने यह आदेश एकल पीठ के फैसले को अपील में चुनौती देने वाले अभ्यर्थियों के चयन अधिकार को संरक्षण देने के लिए दिया है। अदालत ने अपील को निस्तारित करने के लिए 16 दिसंबर को इसे पेश करने का निर्देश दिया है। यह आदेश मुख्य न्यायमूर्ति गोविन्द माथुर तथा न्यायमूर्ति सिद्धार्थ वर्मा की खंडपीठ ने जितेन्द्र कुमार मिश्र एवं तीन अन्य की विशेष अपील की सुनवाई करते हुए दिया है।
अपीलार्थियो के वकीलों का कहना है कि 15 सितंबर 16 को आयोग ने लैब तकनीशियन भर्ती निकाली। अपीलार्थी भी परीक्षा में सफल घोषित हुए और साक्षात्कार में शामिल हुए। 15 जून 17 को अंतिम परिणाम घोषित किया गया तो पता चला कि कट आफ मार्क से अधिक अंक पाने के बावजूद सैकडों अभ्यर्थियों का नाम चयन सूची में शामिल नही है जिसे चुनौती दी गयी।
एकलपीठ ने कोरोना संक्रमण के फैलाव को देखते हुए चयनितो की नियुक्ति पर लगी रोक हटाते हुए चयन प्रक्रिया पूरी करने का निर्देश दिया और याचिकाएं खारिज कर दी। 9 सितंबर 20 के इस एकल जज के फैसले के खिलाफ विशेष अपील दाखिल की गयी है। जिसकी सुनवाई करते हुए कोर्ट ने खाली बचे पदों को भरने पर रोक लगा दी है ।