पेरियार ललई सिंह यादव की पुण्यतिथि पर आज संगोष्ठी, जुटेंगे सामाजिक चिंतक
February 24, 2019
लखनऊ, पेरियार ललई सिंह यादव की पुण्यतिथि के उपलक्ष्य में विद्यार्थी चेतना फाउंडेशन द्वारा सामाजिक न्याय पर एक राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया जा रहा है। यह जानकारी विद्यार्थी चेतना फाउंडेशन के संयोजक महेंद्र सिंह यादव ने दी।
उन्होंने बताया कि “सामाजिक न्याय के बदलते आयाम एवं भारतीय संविधान- चुनौतियां एवं भविष्य” विषय पर संगोष्ठी का आयोजन किया गया है। लखनऊ के गोमती नगर विभूति खंड स्थित उर्दू अकादमी में यह संगोष्ठी प्रातः 10:30 बजे से प्रारंभ होगी।
विद्यार्थी चेतना फाउंडेशन के संयोजक ने बताया कि कार्यक्रम के मुख्य अतिथि उच्च न्यायालय के अवकाश प्राप्त न्यायमूर्ति वीरेंद्र सिंह यादव होंगे। कार्यक्रम की अध्यक्षता अवकाश प्राप्त न्यायमूर्ति इलाहाबाद उच्च न्यायालय एवं पूर्व लोकायुक्त उत्तराखंड सैयद हैदर अब्बास रजा करेंगे।
विशिष्ट अतिथियों में पूर्व विधायक रामपाल यादव, रक्षा मंत्रालय भारत सरकार के सलाहकार समिति के सदस्य भूप सिंह, पूर्व आईएएस तपेंद्र प्रसाद शाक्य, पूर्व आईपीएस एस आर दारापुरी, एसपी मेरठ डॉ ० बीपी अशोक, संयोजक जनाधार संगठन बीपी सिंह होंगे। राष्ट्रीय संगोष्ठी को सामाजिक न्याय के प्रमुख चिंतकों एवं बुद्धिजीवियों द्वारा संबोधित किया जाएगा।
जिसमें मुख्य रूप से पूर्व कुलपति लखनऊ विश्वविद्यालय प्रोफेसर राधेश्याम यादव, प्रोफेसर आर आर यादव, डॉ शशि कनौजिया , डॉ रविकांत, दिल्ली विश्वविद्यालय के प्रोफेसर सूरज मंडल, प्रोफेसर संदीप यादव , बाबा साहब भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय लखनऊ की प्रोफेसर प्रीति चौधरी, प्रोफेसर बाल चंद्र यादव, फैजाबाद विश्वविद्यालय के प्रोफेसर डॉ अनिल विश्वकर्मा, सरदार पटेल कृषि विश्वविद्यालय मेरठ के प्रोफेसर रमेश चंद्र आदि संबोधित करेंगे ।
विद्यार्थी चेतना फाउंडेशन के संयोजक ने बताया कि हमारे आंदोलन की प्रमुख मांगों में सभी विभागों में आबादी के अनुपात में हिस्सेदारी , सार्वजनिक विभागों में आउटसोर्सिंग के माध्यम से होरही नियुक्तियों में आरक्षण की व्यवस्था, पूरे देश में एक समान शिक्षा, जातिगत जनगणना को सार्वजनिक करने एवं पिछड़ों दलितों की आबादी के अनुपात में आरक्षण देने, उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग की परीक्षा में आरक्षण लागू करने, किसानों के हित में स्वामीनाथन आयोग और किसानों को उनकी फसल की लागत का 2 गुना मूल्य देने, पिछड़ों को पदोन्नति में आरक्षण, सभी विभागों में खाली पड़े बैकलॉग पदों को विशेष भर्ती अभियान के तहत तत्काल भरा जाना, मंडल कमीशन रिपोर्ट की सभी संस्तुतियों को तत्काल लागू करना आदि शामिल हैं।