नई दिल्ली, रियल लाइफ घटना से प्रेरित और दलित संघर्ष की कहानी वाली फिल्म ‘वेदा’ 15 अगस्त को सिनेमा में रिलीज हो गई है। निखिल आडवाणी द्वारा निर्देशित इस फिल्म में जॉन अब्राहम, शरवरी वाघ, अभिषेक बनर्जी,आशीष विद्यार्थी और क्षितिज चौहान ने अहम भूमिका निभाई है. एक्शन, इमोशन से लबरेज सोशल मैसेज देने वाली इस फिल्म का विषय जातिवाद है जो बेहद संवेदनशील है, जहां ऊंची जाति के लोगों को नीची जाति के लोगों का शोषण करते हुए दिखाया गया है.
फिल्म की कहानी-
इस फिल्म में कहानी की शुरुआत में वेदा (शरवरी वाघ) अपनेआप को बचाने के लिए बेतहाशा भाग रही है, कहानी छह महीने पीछे फ्लैशबैक कश्मीर में पहुंच जाती है. जहां पर गोरखा रेजिमेंट का ऑफिसर अभिमन्यु (जॉन अब्राहम )एक आतंकी को अपने सीनियर्स के मना करने पर भी मार देता है क्योंकि उस आतंकी ने उसकी पत्नी (तमन्ना भाटिया) की हत्या की थी. जबकि सीनियर्स को वह आतंकी जिन्दा चाहिए था, जिसके बाद अभिमन्यु को आर्मी से निकाल दिया जाता है और अभिमन्यु राजस्थान के बाड़मेर में अपने ससुर के पास पहुंच जाता है क्योंकि उसने अपनी पत्नी को वादा दिया था. वह वहां के लोकल कॉलेज में बॉक्सिंग का कोच बन जाता है. वहां पर वह निचली जाति की एक लड़की वेदा को कदम कदम पर ऊँची जाती के लोगों से बेज्जत होते देखता है. वेदा बॉक्सर बनना चाहती है. लेकिन गांव का प्रधान जीतेंद्र प्रताप सिंह (अभिषेक बनर्जी) ऐसा होने नहीं देना चाहता है. वह नीची जाति वालों पर अत्याचार करता है. वह वेदा की बहन और भाई का हत्या करवा देता है और वेदा को भी मारना चाहता है, लेकिन वेदा को अभिमन्यु का साथ मिलता है. जो उसके बॉक्सिंग सीखने के सपने को भी पूरा करने के लिए ट्रेनिंग देता है और उसे ऊँची जाति वालों के अत्याचार से बचाने में मदद करता है.
शानदार किरदार-
फिल्म में शरवरी वाघ ने एक्टिंग से अपने रोल में जान डाल दी है वहीं एक अरसे बाद जॉन अब्राहम बड़े परदे पर नजर आये हैं. अपने रोल में वह खूब जमे है.
अभिषेक बनर्जी और क्षितिज चौहान ने नेगेटिव रोल निभा कर अलग ही छाप छोड़ी है. आशीष विद्यार्थी का वही पुराना अंदाज देखने को मिला.
अब देखना ये है कि वेदा इन ऊँची जाति वालों से संघर्ष करके अपनी जान कैसे बचाती है. अभिमन्यु उसकी किस तरह मदद करता है ये तो आपको फिल्म देख कर ही पता चलेगा.
रिपोर्टर आभा यादव