इटावा, प्रगतिशील समाजवादी पार्टी लोहिया के अध्यक्ष शिवपाल यादव ने कहा कि है यदि समाजवादी पार्टी(सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव, राज्यसभा की दस सीटों पर होने वाले चुनाव में समर्थन मागेंगे तो उनकी पार्टी सपा उम्मीदवार प्रोफेसर रामगोपाल यादव के पक्ष में मतदान करेगी।
श्री यादव गुरूवार को यहां अपने निर्वाचन क्षेत्र जसंवतनगर में खटखटा बाबा की कुटिया पर गणेश युवा शोभायात्रा समिति की भगवान गणेश शोभायात्रा रद्द हो जाने के कारण आयोजित एक दिवसीय विशेष गणेश स्थापना एवम हवन पूजन कार्यक्रम का शुभारंभ करने आये थे। उन्होंने पत्रकारों से कहा कि सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव, राज्यसभा की दस सीटों पर होने वाले चुनाव में समर्थन मागेंगे तो उनकी पार्टी सपा उम्मीदवार प्रोफेसर रामगोपाल यादव के पक्ष में मतदान करेगी। उन्होंने कहा कि आगामी विधानसभा चुनावों में उनकी पार्टी समाजवादी पार्टी (सपा) के साथ कोई समझौता नहीं करेंगी।
उन्हाेंने कहा कि प्रसपा पूरे प्रदेश में अपनी अलग पहचान बना चुकी है, और बड़ी संख्या में लोग इससे जुड़ रहे हैं। उन्होंने पार्टी पदाधिकारियों के साथ चर्चा की और उन्हें संगठन को जमीनी स्तर पर मजबूत बनाने के निर्देश दिए। उन्होंने पदाधिकारियों से कहा कि वे पार्टी की नीतियों को जन-जन तक पहुंचाएं। आगामी विधानसभा चुनाव के लिए अभी से तैयारी में जुट जाएं।
श्री यादव ने साफ किया है कि प्रदेश में हो रहे विधानसभा उपचुनाव में वह कोई उम्मीदवार खड़ा नही कर रहे है। उनकी पार्टी 2022 के विधानसभा चुनाव में पूरी ताकत से चुनाव मैदान में उतरेगी। उनकी पार्टी सेक्यूलर दलों को एक जुट देखना चाहती हैं, ताकि भारतीय जनता पार्टी के जंगलराज को उखाड़ फेंका जाए।
प्रसपा अध्यक्ष ने कहा कि उत्तर प्रदेश को हमने बेहतर राज्य बनाने की ओर अग्रसर किया था। पिछले साढ़े तीन साल के योगीराज में प्रदेश बदहाल हो गया है, कानून व्यवस्था पूरी तरह से ध्वस्त है। विकास के मामले में प्रदेश बहुत पीछे चला गया।
उन्होंने बताया कि पिछले राज्यसभा चुनाव में हमने समाजवादी पार्टी को वोट दिया था। अब पार्टी प्रत्याशी की जीत के लिए सपा अध्यक्ष को हमसे बात करनी होगी, तभी हम कुछ निर्णय लेंगे।
श्री यादव ने कहा कि हम संघर्ष से नही घबराते। नौजवानों, किसानों की बदहाल स्थित के लिए हम कोई भी संघर्ष और कुर्बानी के लिये हर समय तैयार हैं। अब हमारा एक मात्र लक्ष्य 2022 के चुनाव है। सत्ता पलटे वगैर इस प्रदेश को प्रगति के रास्ते पर नही लौटाया जा सकता। कोविड संक्रमण के नाम पर जमकर लोगों का उत्पीड़न हुआ है। नौकरशाही सत्ता की शह पर जबरदस्त ढंग से भ्रष्टाचार में लिप्त है।