पानी की गंभीर समस्याओं पर, जलसहेलियों ने जनप्रतिनिधियों को चेताया
April 15, 2019
झांसी, उत्तर प्रदेश के बुंदेलखंड में पानी की गंभीर समस्या के समाधान में लगी जल सहेलियों ने इस क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे प्रत्याशियों के लिए जल घोषणा पत्र तैयार किया है साथ ही चेतावनी भी दी है कि अगर वह इसे गंभीरता से नहीं लेते हैं तो इसके नतीजे उनके लिए काफी खराब हो सकते हैं। बुंदेलखंड में पानी की समस्या के समाधान में लगी जल सहेलियों और पानी पंचायत के सदस्यों ने स्वयंसेवी संगठन परमार्थ संस्थान के साथ मिलकर यह घोषणा पत्र तैयार किया है।
संगठन के संचालक संजय सिंह और जल सहेलियों ने सोमवार को यहां एक स्थानीय होटल में पत्रकारों को बताया कि बुंदेलखंड में जल सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए जल घोषणा पत्र जारी किया है जिसमें इस क्षेत्र के जिलों में सूखे से होने वाली समस्याऐं और उसके समाधान को लेकर सरकार को अवगत कराया गया है। साथ ही जल परियों ने चेतावनी दी है कि यदि चुनाव लड़ने वाले जनप्रतिनिधि इस समस्या को गंभीरता से नहीं लेते हैं तो उन्हें गंभीर परिणाम भी भुगतने पड़ सकते हैं।
जल घोषणा पत्र संवाद का आयोजन किया गया और बताया गया कि कैसे जल का संचयनए प्रबंधन किया जा सकता है। बुंदेलखंड में पीने के पानी पर सार्वजनिक व्यय में वृद्धिए आधारभूत ढांचे में निवेश के माध्यम से जल सुरक्षा को सुनिश्चित करना, शासन के सभी स्तरों पर बजट पारदर्शिता सुनिश्चित करनाए जल संबंधी योजनाओं और कार्यक्रमों के लिएए बजट प्रक्रियाओं में स्थानीय नागरिकों और जल सहेलियों की भागीदारी सुनिश्चित करनाए सामाजिक अंकेक्षण के द्वारा जवाबदेही तंत्र को मजबूत करना जल सहेलियों की प्रमुख मांगे हैं जिन्हे वह अब अपने.अपने क्षेत्र में चुनाव प्रचार के दौरान चुनाव लड़ रहे प्रत्याशी को देगी।
कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए परमार्थ संस्था के प्रमुख और वॉटर काउंसिल के सदस्य ने कहा कि बुंदेलखंड के जल संकट को दूर करने के लिए जल सहेलियों एवं पानी पंचायत लगातार प्रयास कर रही हैं।यह जल घोषणा पत्र गांव की जल सहेलियों के द्वारा तैयार किया है इसलिए यह पानी की समस्या को दूर करने के लिए सबसे विश्वसनीय है।
श्री सिंह ने बताया कि बुंदेलखंड में सूखा की सबसे बड़ी समस्या है जो स्थाई बनती जा रही है। जबकि लोकसभा चुनाव 2019 के उम्मीदवार इस मुख्य मुद्दे से कहीं भटके नजर आ रहे हैं। उनके बीच आमजन की आम समस्या दूर.दूर तक कहीं दिखाई नहीं दे रही है। इस मामले को लेकर 18 अप्रैल को लखनऊ में कार्यक्रम करेंगे और इस घोषणा पत्र को राजनीतिक दलों के घोषणा पत्र के साथ शामिल कराने का प्रयास करेंगे।
जल सहेलियों ने संवाद के दौरान कहा कि यदि उनकी समस्या को जनप्रतिनिधि गंभीरता से नहीं लेते हैं तो वे इसके लिए किसी भी तरह के आंदोलन के लिए भी तैयार है। इसमें चुनाव बहिष्कार से लेकर प्रत्याशी को डंडा लेकर दौड़ाने जैसे कार्य भी शामिल हो सकते हैं।
जल घोषणा पत्र संवाद में कुल मिलाकर जल सहेली गीता देवी, पार्वती, विधा, मीरा तारा, सावित्री, लक्ष्मी, नन्दनी, पुष्पा, शिवकुंअर, रानी, सीमा देवी, माया, सोमवती, हेमलता व संतोषी सहित मंडल के झांसी, ललितपुर व जालौन जनपद से 100 जल सहेलियों के द्वारा सहभागिता की गयी।