लखनऊ, उत्तर प्रदेश के जलशक्ति मंत्री डा0 महेन्द्र सिंह ने कहा है कि प्रदेश में संचालित नहरों की सिल्ट सफाई अभियान के तहत 100 फिसदी नहरों की सफाई सुनिश्चित कराने के निर्देश दिये गये हैं, ताकि ‘‘हर खेत को पानी’’ के संकल्प को पूरा करके किसानों की आमदनी बढ़ाई जा सके।
उन्होंने कहा कि नहरों की सफाई के लिए 15 दिसम्बर, 2019 डेड लाइन तय की गयी है। इसके पश्चात यदि मीडिया, जन प्रतिनिधियों अथवा आम जनता द्वारा जानकारी दी जाती है कि उनके क्षेत्र में नहर के सफाई का कार्य अवशेष है तो संबंधित अभियन्ता के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जायेगी। उन्होंने कहा कि नहरों की सफाई में पूरी गुणवत्ता एवं पारदर्शिता सुनिश्चित करने के निर्देश दिये गये हैं।
जलशक्ति मंत्री आज उन्नाव जनपद के नवाबगंज विकास खण्ड के अंतर्गत अजगैन रजबहा के सिल्ट सफाई कार्य का निरीक्षण कर रहे थे। उन्होंने कहा कि रजबाहा, माइनर तथा नहरों की सफाई 100 फिसदी होनी चाहिए। उन्होंने यह भी हिदायत दी की नहर से निकाली गयी मिट्टी की नीलामी करके उस धनराशि का व्यय नहर सफाई के लिए उपयोग किया जाय जिससे नहर सफाई का खर्च निकाला जा सके।
उन्होंने रजबाहे पर लगाये गये डिस्प्ले बोर्ड पर अभियन्ता के पद नाम के साथ ही मोबाइल नं0 दर्ज कराने के निर्देश दिये। उन्होंने नहर सफाई में जन प्रतिनिधियों का सहयोग, मार्गदर्शन तथा सुझाव लेने के भी निर्देश दिये।
डा0 महेन्द्र सिंह ने कहा कि राज्य सरकार अन्तिम किसान के खेत तक सिंचाई का पानी पहुंचाने के लिए कटिबद्ध है। इस संकल्प को साकार करने के लिए पूरे प्रदेश में नहरों की सफाई 15 दिसम्बर,2019 तक सुनिश्चित करने के निर्देश दिये गये हैं। इस तिथि के बाद यदि कोई नहर अवशेष बचती है तो संबंधित अभियन्ता के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जायेगी। इस रजबाहा के निरीक्षण के दौरान नगर विकास मंत्री श्री आशुतोष टण्डन भी मौजूद थे।
इस अवसर पर प्रमुख सचिव नगर विकास श्री मनोज कुमार सिंह, प्रमुख सचिव तथा जल संसाधन श्री टी0 बेंकटेश, विभागाध्यक्ष एवं प्रमुख अभियन्ता श्री ए0के0 श्रीवास्तव, शारदा संगठन के चीफ श्री प्रवीन कुमार, अधीक्षण अभियन्ता श्री सेवाराम, अधिशासी अभियन्ता उन्नाव सिंचाई खण्ड श्री एस0के0 झा तथा श्री अखिलेश कुमार मौजूद थे।