लखनऊ, उत्तर प्रदेश को महिलाओं के लिये सर्वाधिक असुरक्षित राज्य करार देते हुये कांग्रेस विधानमंडल दल नेता आराधना मिश्रा मोना ने कहा कि बेटी बचाओ-बेटी बढ़ाओ का नारा देने वाली भाजपा सरकार में कोई दिन नहीं जाता जब महिलाओं के साथ घटनाएं न घटित हो रही हों।
श्रीमती मिश्रा ने गुरूवार को कहा कि मथुरा के कोसींकलां में दरोगा की परीक्षा देकर वापस आ रही बेटी के साथ बलात्कार की घटना सरकार के मुंह पर काला धब्बा है, यह घटना दिखाती है कि प्रदेश में दिन में भी चलना सुरक्षित नहीं रहा। एक तरफ मुख्यमंत्री आदित्यनाथ रात 12 बजे सुरक्षा का वादा करते है वहीं केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह दूरबीन लेकर अपराध ढूंढ रहे हैं मगर दोनो को प्रदेश में जंगलराज और महिलाओं पर अत्यचार दिखाई नही देता। वे अगर अपने विभाग के आंकड़ों पर भी नजर डाल लें तो पता चल जायेगा कि भाजपा सरकार की अकर्मण्यता के चलते महिला अपराध में उत्तर प्रदेश नंबर एक बन गया है। कोई दिन नहीं जाता जब महिलाओं के साथ बलात्कार ना होता हो घटनाएं न होती हों।
उन्होने कहा कि कारण स्पष्ट है कि सरकार की नीयत ही महिला विरोधी है, प्रदेश में महिलाओं के साथ हुई जघन्य घटनाओं में प्रत्येक बार सरकार पीड़ित के खड़ी होने के बजाय बलात्कारियों और अपराधियों के खड़ी होकर बचाते नजर आयी। एनसीआरबी के आंकड़ों में स्पष्ट है कि देश में महिला अपराध में यूपी में 2018 से 2020 तक नम्बर वन बना हुआ है जबकि 2021 में महिला अपराध में और तेजी से इजाफा हुआ है।
उन्नाव का कुलदीप सेंगर कांड हो, या शाहजहांपुर का चिन्मयानंद कांड और हाथरस में गैंगरेप पीड़िता को रात 2ः30 बजे पेट्रोल डालकर जला देना, सभी में सरकार बलात्कारियों के साथ खड़ी नजर आयी, कानपुर के शेल्टर होम की घटना कोई भूला नही है जहां नाबालिग बच्चियों का कोरोना जांच में गर्भवती मिलीं।
एक तरफ भाजपा बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ की बात करती है दूसरी तरफ पंचायत चुनाव में दिन में महिला की साड़ी खींची जाती है और अपराधियों पर कोई कार्यवाही नही होती, महिलाओं के साथ बढ़ती आपराधिक घटनाएं दर्शाती हैं कि भाजपा को अपराध नियंत्रण में कोई रुचि नही है।