नई दिल्ली, रेल मंत्री सुरेश प्रभु ने रविवार को कानपुर के पास हुई रेल दुर्घटना पर गहरा दुख प्रकट करते हुए आज लोकसभा में बताया कि घटना के कारणों का पता लगाने के लिए रेलवे सुरक्षा आयुक्त की जांच के साथ अलग से एक उचित एजेंसी द्वारा फोरेंसिक विश्लेषण युक्त जांच के आदेश दिये गये हैं। उन्होंने यह भी कहा कि ट्रेनों में इस्तेमाल मौजूदा पुराने आईसीएफ डिब्बों की जगह आधुनिक कोचों को लगाने के काम को तेज किया जाएगा। रेल मंत्री ने कहा कि फिलहाल इस्तेमाल में लाये जा रहे पुरानी तकनीक वाले आईसीएफ डिब्बों में आधुनिक कोचों की तरह दुर्घटना के प्रभाव को रोकने की विशेषताएं नहीं हैं। उन्होंने कहा, मैंने इस सदन को पिछले रेलवे बजट के दौरान सूचित किया था कि इस तरह के पुराने कोचों को चरणबद्ध तरीके से बदला जाएगा और हटाया जाएगा। इस काम में तेजी लाई जाएगी।
रेल मंत्री ने रविवार के रेल हादसे पर स्वतः संज्ञान लेते हुए निचले सदन में दिये अपने बयान में कहा, घटना के सही कारणों का पता लगाने के लिए रेलवे सुरक्षा आयुक्त (सीआरएस) की वैधानिक जांच का आदेश दे दिया गया है। आधुनिक तकनीकी और फोरेंसिक विश्लेषण के साथ एक उचित एजेंसी द्वारा अलग से एक व्यापक जांच भी की जाएगी। दोषियों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी। रविवार को झांसी-कानपुर सेक्शन के मलासा और पुखरायां स्टेशन के बीच तड़के 3ः04 बजे इंदौर-राजेंद्रनगर (पटना) एक्सप्रेस के 14 डिब्बे पटरी से उतर गये थे जिनमें तीन बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गये। प्रभु ने इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना पर सदन को सूचित करते हुए कहा, ताजा जानकारी के अनुसार अब तक 133 यात्रियों की मौत हो चुकी है, 58 यात्री गंभीर रूप से घायल हुए हैं और 122 मुसाफिरों को मामूली चोट आई हैं।
प्रभु ने बताया कि मानवीयता के आधार पर सभी मृतकों के परिजनों को 3.5 लाख-3.5 लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने का निर्णय लिया गया है। गंभीर रूप से घायल हुए यात्रियों को 50-50 हजार रुपये और मामूली रूप से चोटिल लोगों को 25-25 हजार रुपये की मदद दी जा रही है। रेल मंत्री के मुताबिक, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी मृतकों के परिजनों को दो-दो लाख रुपये और सभी घायलों को 50-50 हजार रुपये की अनुग्रह राशि के अतिरिक्त भुगतान की घोषणा की है। प्रभु के अनुसार दुर्घटना के तत्काल बाद राहत और बचाव के प्रयास किये गये। स्थानीय एंबुलेंसों को मौके पर पहुंचाया गया और घायलों को अस्पताल में भर्ती कराया गया। रेल मंत्री ने कहा कि उन्होंने रेलवे बोर्ड के चेयरमैन के साथ घटनास्थल का मुआयना किया और अस्पताल में घायलों से मुलाकात की। रेल राज्यमंत्री मनोज सिन्हा और अन्य अधिकारियों ने भी दुर्घटनास्थल का दौरा किया। प्रभु ने कहा, सभी फंसे हुए यात्रियों को मलासा स्टेशन से विशेष ट्रेन से उनके गंतव्यों तक पहुंचाया गया। फंसे हुए यात्रियों को पर्याप्त मदद और सहायता प्रदान की गयी।