बलिया, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को पूर्व प्रधानमंत्री जननायक चंद्रशेखर की कर्मभूमि बलिया में उनकी भव्य प्रतिमा का अनावरण कर 80 करोड़ रुपये की लागत वाली 46 परियोजनाओं का शिलान्यास एवं लोकार्पण किया।
चंद्रशेखर उद्यान में निर्मित प्रतिमा का अनावरण करने के बाद योगी ने 750 निराश्रित महिलाओं को स्वावलंबी और आत्मनिर्भर बनाने के लिए टूल किट का वितरण किया, साथ ही सब्जियों के निर्यात के लिए ट्रक को हरी झंडी दिखाकर उसे रवाना किया। मुख्यमंत्री ने किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ) को प्रमाण पत्र वितरित किए।
इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए योगी ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री चंद्रशेखर ने बलिया को नई पहचान देने के साथ आजाद भारत में भारत की राजनीति को एक ऐसा चेहरा दिया जो दलीय राजनीति से ऊपर था। उन्होंने कहा कि दिवंगत चंद्रशेखर ने मूल्यों और आदर्शों की राजनीति की। यही वजह है कि समूचे भारतीय उपमहाद्वीप में ऐसी कोई जगह नहीं, जहां उनके प्रशंसक मौजूद न हों। उन्हे हर व्यक्ति के साथ संबंधों को बनाना और उसका निर्वहन करना बखूबी आता था।
योगी ने आपातकाल का जिक्र करते हुए कहा कि जब देश के लोकतंत्र को रोकने का प्रयास किया गया था, तब भी चंद्रशेखर जी ने इसकी मुखर मुखाल्फत की थी। इतना ही नहीं जब देश के अंदर स्वदेशी आंदोलन चला तो उसका समर्थन कर भारतीय जनता पार्टी एवं राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के साथ वह सभी के लिए लोकप्रिय हो गये। देश की संसद में कोई दल और कोई सांसद चंद्रशेखर जी के खिलाफ अभद्र टिप्पणी नहीं कर सकता था क्योंकि उन्हे मालूम था कि एक फक्कड़ स्वभाव का व्यक्ति जो मूल्यों और आदर्श राजनीति की बात कर रहा है उसके लिए देश हित सर्वोपरि है।
योगी ने कहा, “पूर्व प्रधानमंत्री चंद्रशेखर की प्रतिमा के अनावरण पर मुझे बताया गया कि इसे आजमगढ़ के हस्तशिल्पी कलाकार ने बनाया है, जिसने मुझे अभिभूत कर दिया।” योगी ने कहा कि आज का दिन बलिया के लिए कई प्रकार से महत्वपूर्ण है, जहां एक ओर पूर्व प्रधानमंत्री की प्रतिमा का अनावरण किया गया, वहीं दूसरी ओर बलिया को 80 करोड़ रुपये लागत की 46 परियोजनाओं के लोकार्पण और शिलान्यास की सौगात दी गई। इतना ही नहीं बलिया में एफपीओ के माध्यम से ताजी सब्जियों को अंतरराष्ट्रीय बाजार तक पहुंचाने के लिए ट्रक का फ्लैग ऑफ कर उसे रवाना किया गया।