अंतर्राष्ट्रीय बाजार में भी पहुंच रही है बिहार की सब्जियां

पटना,  बिहार के किसानों की उगाई गई सब्जियां अंतर्राष्ट्रीय बाजार में पहुंच चुकी है। पिछले दिनों ट्रायल सीपमेंट के तौर पर 1,500 किलो सब्जियां दुबई के लुलु मॉल में भेजी गई थी। इस सफलता से उत्साहित होकर सहकारिता विभाग अब सब्जियों को नेपाल और सिंगापुर में भेजने की तैयारी कर रहा है। बिहार से सब्जियां विदेश भेजने की शुरुआत होने से राज्य के किसानों की आय बढ़ने की उम्मीद की जा रही है।

सहकारिता विभाग किसानों की उपज को बाजार मुहैया करवाने के लिए लगातार काम कर रहा है। इसी कड़ी विदेशों में सब्जियां भेजने के साथ ही राज्य के भीतर भी सहकारी संघों के माध्यम से किसानों को बाजार उपलब्ध कराने का प्रयास किया जा रहा है।

सहकारिता विभाग “तरकारी” ब्रांड के नाम से सब्जियों की बिक्री भी कर रहा है। हरित संघ, तिरहुत संघ एवं मिथिला संघ द्वारा माह अगस्त 2025 तक 104168.85 मीट्रिक टन की सब्जियों की बिक्री की गई है। इस व्यवसाय में 178 करोड़ रूपये का टर्न ओवर रहा है। प्राथमिक सब्जी उत्पादक सहकारी समिति द्वारा की गई सब्जी के क्रय आदेश को देखने एवं उक्त आदेश के विरूद्ध सब्जी आपूर्ति की जाने वाली मात्रा के बारे में सूचना देने के लिए सदस्य किसानों के लिए तरकारी ऐप विकसित किया गया है।

बिहार राज्य सब्जी प्रसंस्करण एवं विपणन योजना योजना के तहत इसका क्रियान्वयन किया जा रहा है। इसके लिए त्रिस्तरीय सहकारी संरचना की अवधारणा की गई है जिसमें प्रखंड स्तर पर सब्जी उत्पादक किसानों को सम्मलित कर प्राथमिक सब्जी उत्पादक सहकारी समिति, कुछ जिलों के प्रखंड स्तरीय प्राथमिक समितियों को मिलाकर सब्जी प्रसरण एवं विपणन सहकारी संघ तथा राज्य स्तर पर फेडरेशन गठित किया गया है।

वर्तमान में चार यूनियन (तिरहुत, मिथिला, हरित एवं मगध) एवं राज्य स्तर पर बिहार राज्य सब्जी प्रसंस्करण विपणन सहकारी फेडरेशन (वेजफेड) कार्यरत है। राज्यांतर्गत 527 प्रखंड स्तरीय सब्जी उत्पादक सहकारी समिति का गठन किया जा चुका है। अब तक 49,000 से अधिक सब्जी उत्पादक किसान इन प्रखंड स्तरीय सब्जी उत्पादक सहकारी समितियों के माध्यम से जुड़ चुके हैं।

प्रखंड स्तर पर गठित प्राथमिक समितियों में 10,000 वर्ग फीट भूमि पर स्थानीय उपभोक्ताओं के लिए सब्जी हाट के साथ-साथ प्रबंधन कार्यालय, मिनी कोल्ड स्टोरेज, सॉटिंग ग्रेडिंग शेड, सब्जी वाहनों के लिए लिफ्टिंग प्लेटफार्म आदि के निर्माण के साथ-साथ आवश्यक उपकरणों की व्यवस्था की जानी है। सहकारी संघ पूरे प्रसंस्करण एवं विपणन व्यवस्था के केन्द्र के रूप में कार्य करेगा। उक्त सहकारी संघ प्राथमिक सब्जी सहकारी समितियों से प्राप्त सब्जी का शीत संग्रहण, प्रसंस्करण एवं मूल्य संवर्धन व्यवस्था का कार्य करेगा।

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