गुड़गांव, केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि ‘‘लोन वुल्फ’’ यानी अकेले के दम पर तैयारी करके हमला करने वाले आतंकवादियों से उत्पन्न खतरा देश की सुरक्षा एजेंसियों के लिए बड़ी चुनौती है। राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड के 34वें स्थापना दिवस समारोह में बल के जवानों को संबोधित करते हुए राजनाथ ने यहां कहा कि 2008 में मुंबई में हुए आतंकवादी हमले के बाद सुरक्षा बलों ने बेहतरीन समन्वय दिखाया और सुनिश्चित किया है कि कोई बड़ा आतंकवादी हमला नहीं हो।
उन्होंने न्यूयॉर्क और लंदन में हुए हालिया हमलों का जिक्र किया, जिनमें कई लोगों को कुचलने और उनकी हत्या करने के लिए वाहनों का इस्तेमाल किया गया। राजनाथ ने मानेसर स्थित एनएसजी की इकाई में कहा, ‘‘खुद ही सब कुछ करने वाले और ‘लोन वुल्फ’ जैसे आतंकवादी हमले हमारे लिए और सुरक्षा एजेंसियों के लिए बड़ी चुनौती हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘हमें इसी मुताबिक तैयारी करनी होगी और अपनी तरकीबों में बदलाव लाना होगा, उन्हें अद्यतन करना होगा ताकि इन खतरों से निपटा जा सके। गृह मंत्री ने कहा कि आतंकवाद किसी देश तक सीमित नहीं है, बल्कि यह दुनिया की समूची आबादी को प्रभावित करता है। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया ने आतंकवादियों की विचारधारा के प्रसार में मदद की है।
2008 के बाद से देश में कोई बड़ा आतंकवादी हमला नहीं होने देने के लिए एनएसजी और अन्य सुरक्षा बलों की तारीफ करते हुए राजनाथ ने कहा कि जम्मू-कश्मीर को ‘‘छोड़कर’’ बाकी जगहों पर आतंकवाद या उग्रवाद पर काबू पाने में वे सफल हुए हैं। राजनाथ ने कहा, ‘‘हमने अभियान के लिए जम्मू-कश्मीर में एनएसजी की एक इकाई तैनात की है। मंत्री ने राज्य पुलिस बलों से भी कहा कि वह अपने बलों में आतंकवाद निरोधक क्षमता बढ़ाएं क्योंकि कोई हमला होने की सूरत में पहले उन्हें ही मुकाबला करना होता है।