यूपी में अब दलित भी गैर दलितों को अपनी जमीन बेच सकेंगे। इसके लिए राजस्व संहिता में संशोधन के लिए सरकार की तरफ से राजभवन को भेजी गई फाइल पर गवर्नर राम नाईक ने साइन कर दिया है। नई राजस्व संहिता के मुताबिक, इसके लिए उन्हें पहले की तरह डीएम से मंजूरी लेनी होगी। इसके तहत दलितों के पास 3.125 एकड़ से कम जमीन होने पर उन्हें गैर दलितों को बेचने का अधिकार प्राप्त हो जाएगा। पहले के कानूनों के मुताबिक, डीएम की अनुमति से दलित काश्तकार अपनी 3.125 एकड़ जमीन को छोड़कर बाकी की जमीन बेच सकता था। अब बदली व्यवस्था में दलित के पास अगर 3.125 एकड़ से कम जमीन भी शेष है, तो वह उसे गैर दलित को तीन शर्तों के साथ बेच सकता है। इसमें पहली शर्त ये होगी कि जमीन बेचने वाले दलित का कोई वारिस न हो। दूसरा, अनुसूचित जाति का व्यक्ति किसी दूसरे प्रदेश में या कहीं और बस गया हो। तीसरी शर्त के अनुसार, परिवार के किसी सदस्य के जानलेवा बीमारी से ग्रस्त होने पर विपदा की स्थिति में इलाज के लिए जमीन बेचना उसके लिए जरूरी हो गया हो। राजस्व संहिता में संशोधन को लेकर गवर्नर की मंजूरी के पीछे पिछले दिनों गवर्नर और सीएम के बीच राजभवन में हुई मुलाकात से जोड़कर देखा जा रहा है।