नई दिल्ली, सफाईकर्मियों को अब सीवर की सफाई करने के लिए सेप्टिक टैंक में उतरकर जान जोखिम में नहीं डालना पड़ेगा, क्योंकि सुलभ इंटरनेशनल ने चीन से ऐसा सीवर क्लीनिंग मशीन मंगवाया है, जिससे सीवर की सफाई का काम आसान हो गया है। देश में विगत तीन वर्षो में करीब तीन हजार सफाईकर्मियों की मौत सीवर सफाई के दौरान हुई है।विश्व शौचालय दिवस के मौके पर सुलभ इंटरनेशनल ने देश में पहली सीवर क्लीनिंग मशीन पेश की है।‘होप’ नामक इस मशीन का उद्घाटन भारतीय जनता पार्टी के दिल्ली प्रदेशाध्यक्ष मनोज तिवारी ने की। इस मौके पर राष्ट्रीय सफाई कर्मचारी आयोग के अध्यक्ष मनहर वालजी भाई जाला के साथ दिल्ली के तीनो नगर निगमों के अध्यक्षों मौजूद थे।
सुलभ स्वच्छता और सामाजिक सुधार आंदोलन के अगुवा डॉ. विन्देश्वर पाठक ने बताया, ‘मशीन के जेट पंप से एक मिनट में 150 लीटर पानी बाहर निकाला जा सकता है। वहीं मशीन में मौजूद फ्लेक्सिबल स्टील रॉड से बंद पड़ी सीवर लाइन को आसानी से खोला जा सकता। उन्होंने बताया, ‘मशीन में इलेक्ट्रो-हाइड्रोलिक में लगे कैमरे से 20 फीट तक की गहराई की जानकारी मिल सकेगी। सफाई के दौरानकिसी कर्मी को सेप्टिक टैंक में नहीं उतरना पड़ेगा और अगर कभी उतरना भी पड़ा तो सफाई कर्मचारियों को मशीन की मदद और पूरे इक्विपमेंट के साथ जाना होगा।
डॉ. पाठक के अनुसार, इस मशीन से सीवर लाइन की मैन्युअल सफाई की समस्या से छुटकारा मिलेगा। उनसे जब यह पूछा गया कि आपको सीवर की सफाई के लिए मशीन आयात करने का आइडिया कहां से और कैसे मिला तो उन्होंने कहा, ‘मैं और पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव अक्टूबर माह में पटना से साथ ही दिल्ली आ रहे थे। यात्रा के दौरान शरद जी ने सीवर सफाई के दौरान होने वाली मौतों पर अपनी चिंता जाहिर की। उन्होंने कहा कि अगर हो सके तो आप कुछ ऐसा करें, जिससे सीवर की सफाई के दौरान सफाईकर्मियों को जान जोखिम में न डालना पडें। अक्टूबर में शरद यादव जी से बात हुई और नवंबर माह में हमने यह मशीन चीन से मंगवाया।
मनोज तिवारी ने कहा, ‘इस मशीन से महानगरों की बड़ी-बड़ी सीवर लाइन की सफाई में कोई समस्या नहीं आएगी और हमारे कर्मचारियों की अनमोल जान को भी कोई खतरा नहीं रहेगा। तिवारी ने सुलभ सीवर क्लीनिंग मशीन व्हीकल को सीवर सफाई के लिए निगम में शामिल करने को कहा। कैम एविडा इन वैरो प्रा. लि., पुणे के सर्विस इंजिनियर सत्यजीत वैष्णव ने बताया कि इस मशीन की मदर से सीवरों की सफाई ज्यादा बेहतर और कारगर तरीके से की जा सकेगी और बरसात के मौसम में दिल्ली और मुंबई जैसे महानगरों के लोग आराम से रह पाएंगे। उन्होंने कहा कि बरसात में सीवरों के जाम होने की समस्या सिर्फ दिल्ली और मुंबई की ही नहीं , बल्कि पूरे देश के अधिकांश शहरों और कस्बों की है।