कुशीनगर, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को कुशीनगर में इंसेफेलाइटिस से निपटने के लिए टीकाकरण अभियान की शुरुआत की। इस मौके पर स्वास्थ्य मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह भी मौजूद रहे। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि पूर्वी यूपी के विकास में जापानी इंसेफेलाइटिस बाधक है। इसके उन्मूलन के लिए केंद्र व प्रदेश सरकारों ने संयुक्त रूप से विशेष टीकाकरण अभियान की शुरुआत की है। जिन्होंने इसका टीका नही लगवाया है, वे अब इसे आसानी से लगवा सकेंगे।
योगी ने टीकाकरण के फायदे को हर वर्ग से लेने की अपील की। योगी ने कहा कि हमें मिलकर इंसेफेलाइटिस के खिलाफ जागरूकता पैदा करनी होगी। कुशीनगर इससे सर्वाधिक पीड़ित है। देश और दुनिया को बहुत कुछ देने वाले इस जिले के मुसहर, गरीब, लाचार और अल्पसंख्यक बस्तियों को मासूम जेई की चपेट में आ रहे हैं और काल के गाल में समां रहे हैं। हालाँकि, अभी केवल जेई के लिए ही टीका है। एईस से बचाव का कोई उपाय नही है। इसलिए हमें जागरूक रहते हुए इससे नौनिहालों का बचाव करना होगा।
स्वास्थ्य मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने बताया कि इंसेफेलाइटिस को लेकर यह विशेष टीकाकरण अभियान 25 मई से 11 जून तक चलेगा। प्रदेश के 38 जिलों में यह अभियान चलाया जायेगा। इसके तहत 88 लाख 57 हजार बच्चों का टीकाकरण होगा। केंद्र ने प्रदेश सरकार के अनुरोध पर इस अभियान के लिए एक करोड़ वैक्सीन उपलब्ध कराई है। सिद्धार्थ नाथ सिंह ने कहा कि उत्तर प्रदेश में इंसेफेलाइटिस एक बड़ी समस्या है। ऐसे में राज्य सरकार इस भयंकर बीमारी से निपटने के लिए टीकाकरण अभियान शुरू कर रही है।
गुरुवार से ही टीकाकरण अभियान की शुरुआत प्रदेश के सभी प्रभावित 38 जिलों में होगा। प्रदेश केसभी कैबिनेट मंत्री विभिन्न जिलों से अभियान शुरू करेंगे। अभियान के दौरान इंसेफेलाइटिस प्रभावित जिलों के चिकित्सकों को छुट्टी नहीं मिलेगी। स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि इस अभियान में एक से 15 साल तक के बच्चों को इंसेफेलाइटिस का टीका लगाया जाएगा।सिद्धार्थनाथ सिंह ने कहा कि मस्तिष्क ज्वर से बचाव हेतु टीकाकरण के साथ-साथ जन जागरूकता अभियान भी चलाया जाएगा और लोगों को इससे होने वाले दुष्परिणामों से भी अवगत कराया जाएगा।
उन्हें इस कार्य के लिए प्रेरित किया जाएगा कि वे अपने बच्चों में मस्तिष्क ज्वर से बचाव हेतु टीका अवश्य लगवाएं। विशेष रूप से एक से 15 वर्ष के बच्चे जो, पूर्व में टीकारण से वंचित रह गये हैं, उन बच्चों को भी इस अभियान के अन्तर्गत टीकाकरण से आच्छादित किया जाए, जिससे इस भयावह रोग पर अंकुश लग सके और इसे नियंत्रित किया जा सके। सिद्धार्थनाथ सिंह ने बताया कि प्रदेश के चार जिलों बहराइच, बलरामपुर, सीतापुर एवं श्रावस्ती में जे.ई. (जैपनीज इंसेफेलाइटिस) का पुनः अभियान चलाया जाएगा। इसके अतिरिक्त प्रदेश के 34 जनपदों में जेई टीकारण के छूटे हुए बच्चों को शत-प्रतिशत आच्छादित करने का लक्ष्य रखा गया है।