संतकबीरनगर, उत्तर प्रदेश में संतकबीरनगर के धनघटा क्षेत्र में एक वहशी पिता ने अपनी तीन मासूम बेटियों को जिंदा नदी में फेंक दिया।
अपर पुलिस अधीक्षक असित श्रीवास्तव ने सोमवार को यहां बताया कि धनघटा क्षेत्र के दीपपुर डिहवा गांव निवासी एक युवक सरफराज ने रविवार की रात अपने एक दोस्त के साथ मिलकर अपनी तीन बेटियों को जिंदा घाघरा नदी में फेंक दिया। उसके बाद अपने कपड़े फाड़ कर ब्लेड से शरीर पर चोट के निशान बनाकर तीनों बेटियों के अपहरण की सूचना फैला दी।
उन्होंने बताया कि दीपपुर डिहवा निवासी सरफराज 20 दिन पहले मुंबई से लौटा था। रविवार की रात अपने एक दोस्त बैड़ारी गांव निवासी नीरज के साथ अपनी सात साल, पांच साल और ढाई साल की तीनों मासूम बेटियों को मोटरसाइकिनल से दवा कराने के बहाने लेकर घाघरा नदी के बिड़हर घाट पुल पर गया। पुल से ही तीनों बेटियों को जिंदा घाघरा नदी में फेंक दिया। उसके बाद घर पहुंचकर ब्लेड से शरीर पर चोट के निशान बनाकर और कपड़े फाड़ कर अपनी तीनों बेटियों के अपहरण की सूचना फैला दी।
श्री श्रीवास्तव ने बताया कि पुलिस ने जांच पड़ताल की तो घटना की सही कहानी सामने आई है। आरोपी पिता और उसके दोस्त को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है। आरोपी पिता ने ऐसी घटना क्यों किया अभी स्पष्ट नहीं हो पाया है। तीनों मासूम बच्चियों के शव पुलिस गोताखोरों की मदद से घाघरा नदी में तलाश की जा रही है। उन्होंने बताया कि नदी में प्रवाह अधिक होने के कारण शवों को ढूंढने में कठिनाई हो रही है। गोरखपुर से जल पुलिस को बुलाया गया है और एसडीआरएफ व एनडीआरएफ को भी सहायता के लिए सूचित किया गया है। पुलिस ने आरोपी युवक और उसके दोस्त को हिरासत में लिया है।
इस बीच कुछ ग्रामीणों ने बताया कि आरोपी युवक की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है। मुंबई में मेहनत मजदूरी करके परिवार चलाता था लेकिन कोरोना के कारण लाॅकडाउन के बाद वह बेरोजगार हो गया है और नशे का भी आदी है। वह अपने दोस्त के साथ नशा करने के बाद इस घटना को अंजाम दिया। पुलिस मामले की छानबीन कर रही है।