नई दिल्ली, कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर विदेशी मोर्चे पर असफल होने का आरोप लगाते हुए बुधवार को कहा कि सरकार को अमेरिका और कुवैत के सामने भारतीय हितों के मामले मजबूती से उठाने चाहिए।
कांग्रेस प्रवक्ता डॉ. अभिषेक मनु सिंघवी ने यहां पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि सरकार भारत की राजनयिक पैठ के बडे दावे करती है, लेकिन सच्चाई यह है कि अमेरिका ऐसे ऐंठ कर रहा है, जैसे भारत नाम का कोई देश ही नहीं है और कुवैत भारतीय कामगारों के विषय में एकतरफा निर्णय लेता है।
उन्होंने कहा कि अमेरिका के एच वन बी वीज़ा लेने वाले चार लोगों में से तीन भारतीय हैं लेकिन अमेरिका इस मामले में भारत की परवाह किये बिना फैसला कर रहा है। कुवैत में भारतीय कामगारों को निकालने की तैयारी चल रही है और ऐसे मामलों में भारत की सुपर साफ्ट पावर नहीं दिख रही है।
कांग्रेस नेता ने आरोप लगाया, “ अमेरिका के मामले पर सरकार सोई है, सरकार को बहुत जबरदस्त, बड़े पैमाने पर हल्ला करना चाहिए था और वो सभी चीजें जो शैक्षिक हों, डिप्लोमेटिक हों, आर्थिक हों, स्ट्रैटेजिक हों, जो भी हों; उनके जरिए बहुत पहले इनका हल करना चाहिए था।”
श्री सिंघवी ने कहा कि कुवैत का मुद्दा भारत से ज्यादा किसी अन्य देश से संबंधित नहीं है, कुवैत में चार में से तीन लोग जो भारतीय हैं वह उन्हें कोरोना महामारी की आड़ में निकाल रहा है।
उन्होंने कहा “अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भारत की मानहानि हो रही है, प्रधानमंत्री जी सब काम को छोड़कर अमेरिका और कुवैत इसके लिए जाना चाहिए। आपने एक भी कोई ठोस चीज क्या की, जिससे ये नीतियां वापस ली जाएं? करोड़ों-लाखों भारतीय एक आवाज में इस प्रश्न का उत्तर मांग रहे हैं, लेकिन जवाब की जगह सन्नाटा मिल रहा है।”
श्री सिंघवी ने कहा कि कुवैत के इस फैसले का असर केरल, तेलंगाना और तमिलनाडु के लोगों पर सर्वाधिक पड़ेगा। उन्होंने आरोप लगाया कि मोदी सरकार इस मामले में निष्क्रिय बनी हुई है।